Anil Ambani Share: अनिल अंबानी अपनी कंपनियों के कर्ज को खत्म करने और कारोबार की रेस में तेज दौड़ने के लिए कई रिस्ट्रक्चर प्लान पर काम कर रहे हैं. कंपनियों के ऊपर से कर्ज को बोझ कम हो रहा है तो कंपनियों को नए ऑर्डर मिल रहे हैं. अनिल अंबानी ने एक और फैसला लिया है. अंबानी ने रिलायंस ग्रुप की इंचीग्रेडेट पावर यूटिलिटी कंपनी रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर को अपनी सब्सिडियरी कंपनी रिलायंस वेलोसिटी लिमिटेड ( RVL) के खुद के साथ विलय का ऐलान किया है. रिलायंस इंफ्रा के साथ इस विलय को बोर्ड की मंजूरी मिल गई है.
पिछले साल हुआ था विलय का ऐलान
अनिल अंबानी की कंपनी ने पिछले साल ही इस मर्जर को लेकर ऐलान किया था. इस मर्जर के जरिए कारोबार को तेजी से बढ़ाने की कोशिश हो रही है. इस विलय के बाद रिलायंस वेलोसिटी रिलायंस इंफ्रा का हिस्सा बन जाएगा, यानी RVL का वजूद खत्म हो जाएगा. कंपनी के स्ट्रक्चर को युक्तिसंगत और कंसोलिडेट करने के लिए इस विलय को पूरा किया जा रहा है . वहीं मर्जर के बाद उसकी एफिशिएंसी में सुधार होगा. खर्च में कटौती होगी, लागत में बचत होगी.
क्या करती है अनिल अंबानी की ये कंपनी
अनिल अंबानी की कंपनी रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर बिजली, सड़क, मेट्रो रेल, रियल एस्टेट से जुड़े इंफ्रास्ट्रक्टर प्रोजेक्ट के लिए इंजीनियरिंग और कंस्ट्रक्शन सर्विसेज का काम करती है. कंपनी ने रक्षा क्षेत्र और इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में कई परियोजनाओं को पूरा किया है और उसका मेंटिनेंस कर रही है. बता दें कि अनिल अंबानी की एक और कंपनी उनके हाथ से निकलने वाली है. नीलामी प्रक्रिया से गुजर रही अनिल अंबानी की कंपनी रिलायंस कैपिटल बिकने वाली है. हिंदुजा समूह की सब्सिडियरी कंपनी ने उसके लिए 9685 करोड़ रुपये की सबसे अधिक बोली लगा . अब कंपनी इस डील को पूरा करने के लिए कोशिश कर रही है.