trendingNow12778132
Hindi News >>बिजनेस
Advertisement

सरकारी इंश्‍योरेंस कंपन‍ियों ने जुटाया 1.06 लाख करोड़ का प्रीमियम, FM ने इस बात पर द‍िया जोर

FM Nirmala Sitharaman: कोरोना महामारी के दौरान FY 2021 में क‍िये गए क्‍लेम के रेश्‍यो पीएसजीआईसी के लिए 126 प्रतिशत और प्राइवेट बीमाकर्ताओं के लिए 105 प्रतिशत पर था.

सरकारी इंश्‍योरेंस कंपन‍ियों ने जुटाया 1.06 लाख करोड़ का प्रीमियम, FM ने इस बात पर द‍िया जोर
Kriyanshu Saraswat|Updated: May 29, 2025, 03:15 PM IST
Share

Insurance Companies: केंद्र सरकार की तरफ से दी गई जानकारी के अनुसार पब्‍ल‍िक सेक्‍टर की जनरल इंश्‍योरेंस कंपनियों (PSGIC) का कुल प्रीमियम वित्त वर्ष 2019 करीब 80,000 करोड़ रुपये था. अब यह बढ़कर वित्त वर्ष 2025 में करीब 1.06 लाख करोड़ रुपये हो गया. इससे यह साफ होता है क‍ि जनरल इंश्‍योरेंस इंडस्‍ट्री में ग्रोथ हुई है. इसमें कुल प्रीमियम कलेक्‍शन फाइनेंश‍ियल ईयर 2024-25 में 3.07 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच गया. पीएसजीआईसी के साथ मीट‍िंग में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रीमियम कलेक्‍शन, बीमा पेनेट्रेशन और डेनसिटी, क्‍लेम रेश्‍यो समेत प्रमुख चीजों की समीक्षा की.

मीट‍िंग में कौन-कौन रहा शाम‍िल?

इस मीट‍िंग में वित्तीय सेवा विभाग (DFS) के सचिव एम. नागराजू और पीएसजीआईसी- न्यू इंडिया एश्योरेंस, यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस, ओरिएंटल इंश्योरेंस और नेशनल इंश्योरेंस, जनरल इंश्योरेंस कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (पुनर्बीमा), एग्रीकल्चर इंश्योरेंस कंपनी ऑफ इंडिया लिमिटेड के प्रबंध निदेशकों के अलावा वित्त मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल हुए. देश में जनरल इंश्‍योरेंस की पहुंच जीडीपी के 1 प्रतिशत पर अपेक्षा से कम बनी हुई है. 2023 में ग्‍लोबल एवरेज 4.2 प्रतिशत की तुलना इंश्‍योरेंस रेश्‍यो में लगातार सुधार हुआ है, जो 2019 में 9 डॉलर था तो 2023 में बढ़कर 25 डॉलर पहुंच गया.

सुधार की दिशा में काम करने पर जोर दिया
वित्त मंत्री ने व्यापक वित्तीय सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए पीएसजीआईसी द्वारा पहुंच और घनत्व दोनों में सुधार की दिशा में काम करने पर जोर दिया. अधिकारियों ने हेल्थ इंश्योरेंस सेगमेंट का पांच साल का विश्लेषण किया. इसमें प्राइवेट इंश्‍योरेंस करने वाले, स्टैंडअलोन स्वास्थ्य बीमाकर्ताओं (एसएएचआई) और पीएसजीआईसी में लगातार प्रीमियम हाइक द‍िखाई गई. कोरोना महामारी के दौरान FY 2021 में क‍िये गए क्‍लेम के रेश्‍यो पीएसजीआईसी के लिए 126 प्रतिशत और प्राइवेट बीमाकर्ताओं के लिए 105 प्रतिशत पर था. वित्त वर्ष 2024 तक, ये अनुपात पीएसजीआईसी के लिए 103 प्रतिशत, निजी बीमाकर्ताओं के लिए 89 प्रतिशत और एसएएचआई के लिए 65 प्रतिशत तक कम हो गए थे.

यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस 7 साल बाद मुनाफे में आई
पीएसजीआईसी में बड़ा बदलाव देखने को मिला है और ये सभी फिर से मुनाफे में आ गई हैं. ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड (OICL) और नेशनल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड (NICL) ने क्रमशः वित्त वर्ष 2023-24 की चौथी तिमाही और वित्त वर्ष 2024-25 की दूसरी तिमाही से तिमाही मुनाफा दर्ज करना शुरू कर दिया, जबकि यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड (यूआईआईसीएल) ने 7 साल के अंतराल के बाद वित्त वर्ष 2024-25 की तीसरी तिमाही में मुनाफा दर्ज किया. वहीं, न्यू इंडिया एश्योरेंस कंपनी लिमिटेड (एनआईएसीएल) ने लगातार बाजार में अग्रणी के रूप में अपनी स्थिति बनाए रखी है और नियमित रूप से मुनाफा कमा रही है.

समीक्षा के दौरान, केंद्रीय वित्त मंत्री ने सेवा वितरण और दक्षता में सुधार के लिए सभी पीएसजीआईसी में डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन की जरूरत पर जोर दिया. इसमें विशेष रूप से मोटर ओन डैमेज और स्वास्थ्य बीमा उत्पादों के लिए एआई-ड्रिवन क्लेम सेटलमेंट सिस्टम को अपनाना शामिल है. (IANS) 

Read More
{}{}