LIC Share Price: सरकार आने वाले समय में भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) की 2% से 3% और हिस्सेदारी बेचने की तैयारी कर रही है. सरकार की तरफ से यह कदम 1 अप्रैल से शुरू होने वाले नए फाइनेंशियल ईयर 2025-26 के दौरान उठाया जा सकता है. लेकिन यह कदम तब ही उठाया जाएगा, जब शेयर बाजार की हालत ठीक होगी. सरकार का टारगेट है कि 2027 तक LIC की 10% हिस्सेदारी आम लोगों यानी पब्लिक के पास हो.
एक बार में नहीं बेची जाएगी एलआईसी की हिस्सेदारी
ईटी में प्रकाशित खबर के अनुसार सरकार की तरफ से एलआईसी (LIC) की हिस्सेदारी एक बार में नहीं बेची जाएगी. सरकार हिस्सेदारी को छोटे-छोटे हिस्सों में बेचेगी. सरकार को उम्मीद है कि ऐसा करने से ज्यादा अच्छी कीमत मिल सकती है. बाजार में शेयर की बिक्री तब ही की जाएगी, जब बीमा कंपनी के शेयर ऊपर चढ़ेंगे. वित्त मंत्रालय के 'निवेश और सार्वजनिक संपत्ति प्रबंधन विभाग' (DIPAM) की तरफ से इसकी तैयारी की जा रही है.
10% हिस्सेदारी बेचने के लिए तीन साल का समय दिया
सरकार ने कुछ बैंकों और कंपनियों की हिस्सेदारी बेचने के लिए एडवाइजर की मदद लेने का फैसला किया है. LIC की हिस्सेदारी भी इसी प्लान का हिस्सा है. शेयर बाजार को रेग्युलेट करने वाली संस्था सेबी (SEBI) ने एलआईसी (LIC) को अपनी 10% हिस्सेदारी जनता के बीच बेचने के लिए तीन साल का समय और दिया है. अब LIC को यह काम 16 मई 2027 तक पूरा करना होगा.
हिस्सेदारी बेचनी क्यों जरूरी है?
सेबी (SEBI) के नियमानुसार जो भी कंपनी शेयर बाजार में लिस्ट होती है, उसे कम से कम 25% हिस्सेदारी पब्लिक को देनी होती है. नई कंपनियों को यह काम करने के लिए तीन साल का समय दिया जाता है. ऐसी बड़ी कंपनी जिनका मार्केट कैप एक लाख करोड़ रुपये से ज्यादा होता है, उन्हें इसके लिए पांच साल का समय मिलता है. LIC को इस नियम के तहत अपनी हिस्सेदारी की बिक्री करनी है.
2022 में जुटाए थे 21000 करोड़ रुपये
सरकार की तरफ से मई 2022 में एलआईसी (LIC) का IPO लाकर 3 5% हिस्सेदारी बेची थी. इससे सरकार को करीब 21,000 करोड़ रुपये मिले थे. पिछले एक साल के दौरान LIC के शेयर की कीमत में करीब 23% की गिरावट आई है. इस साल की शुरुआत से अब तक भी यह शेयर 15% गिर गया है. छह महीने के दौरान शेयर में 26% से ज्यादा की गिरावट आई है और तीन महीने के दौरान यह 18% टूट गया है. इससे यह साफ है कि LIC का शेयर लगातार नीचे जा रहे है.
सरकार की कोशिश है कि LIC के शेयर को तभी बेचा जाए जब बाजार मजबूत हो और अच्छे दाम मिलें. इससे सरकार को अच्छी कमाई होगी और सेबी (SEBI) का नियम भी पूरा होगा. एलआईसी के शेयर की बिक्री करने से सरकार को जो पैसा मिलेगा, उसे देश के विकास कार्यों में खर्च किया जाएगा.