Air India Flight Crash: अहमदाबाद में हुआ एयर इंडिया का दर्दनाक विमान हादसा भारत के विमानन इतिहास की सबसे बुरी त्रासदियों में से एक है. इस भयानक दुर्घटना में विमान में सवार लगभग सभी लोगों की जान चली गई, केवल एक यात्री ही जिंदा बचा है. मरने वालों में कई ऐसी कहानिया थीं जो अपनों से मिलने, नए मौकों की शुरुआत करने, या घर लौटने की उम्मीदों से भरी थीं. ऐसी ही एक कहानी राजस्थान के एक परिवार की थी, जिसमें पति-पत्नी और उनके तीन बच्चे शामिल थे, और जो दुखद रूप से इस हादसे में खत्म हो गई.
डॉ. कौमी व्यास, उनके पति प्रतीक जोशी और उनके तीन बच्चे – मिराया जोशी, प्रद्युत जोशी, और नकुल जोशी – उस एयर इंडिया की फ्लाइट में सवार थे. वे लंदन जाकर अपनी जिंदगी का एक नया चैप्टर शुरू करने जा रहे थे. एक रिपोर्ट के मुताबिक, प्रद्युत और नकुल जुड़वां बच्चे थे और यह परिवार राजस्थान के बांसवाड़ा शहर का रहने वाला था.
विमान में सवार होने के दौरान, प्रतीक जोशी ने अपने परिवार की एक सेल्फी ली थी, जिसमें वे सभी पांचों मुस्कुराते हुए दिख रहे हैं. जोशी और उनकी पत्नी कौमी व्यास एक-दूसरे के बगल में बैठे हैं, जबकि उनके तीनों बच्चे दूसरी तरफ एक साथ बैठे हैं, सभी कैमरे के लिए मुस्कुराते हुए पोज दे रहे हैं. कौमी व्यास ने इस तस्वीर को अपने सोशल मीडिया पर भी शेयर किया था, जब परिवार विमान में सवार हुआ था.
डॉ. कौमी व्यास एक निजी अस्पताल में काम करती थीं, जबकि उनके पति, प्रतीक जोशी लंदन में काम करते थे. प्रतीक अपनी पत्नी और तीनों बच्चों को स्थायी रूप से लंदन में अपने साथ रखने के लिए भारत आए थे. यह परिवार एक नई जिंदगी शुरू करने की राह पर था, लेकिन इस दुर्घटना में उन सभी की मौत हो गई.
कम से कम 260 लोगों की मौत, एक अकेला बचा
एयर इंडिया की फ्लाइट AI171 में कुल 242 लोग सवार थे, जिनमें से 230 यात्री और 12 क्रू सदस्य थे. दुखद बात यह है कि उनमें से 241 लोगों की जान चली गई और सिर्फ एक व्यक्ति ही जिंदा बचा है, जिसका अस्पताल में इलाज चल रहा है.
यह फ्लाइट 12 जून को दोपहर 1:38 बजे उड़ा था और उड़ान भरने के केवल 33 सेकंड बाद ही एक रिहायशी इलाके के पास दुर्घटनाग्रस्त हो गया. यह बीजे मेडिकल कॉलेज की इमारत के एक इंटर्न के हॉस्टल से भी टकरा गया था, जिससे जमीन पर भी काफी लोग हताहत हुए.