How To Become Government Lawyer: सरकारी वकील (Public Prosecutor), जिसे आमतौर पर लोक अभियोजन भी करते हैं, वे वकील होते हैं, जो सरकार की ओर से कानूनी मामलों में काम करते हैं. वे अदालतों में सरकार का प्रतिनिधित्व करते हैं, आपराधिक मामलों में अभियोजन पक्ष के रूप में कार्य करते हैं और सरकार को कानूनी सलाह भी देते हैं. जो लोग सरकारी वकील बनना चाहते हैं, उनके मन में सवाल आता है कि सरकारी वकील बनने की क्या प्रक्रिया है और कैसे बना जाता है. चलिए हम आपको इसके बारे में बताते हैं.
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सरकारी वकील बनने के लिए LLB (बैचलर ऑफ लॉ) की डिग्री हासिल करना अनिवार्य होता है. इसके बाद राज्य सरकार या केंद्र द्वारा आयोजित परीक्षा में सफलता हासिल करनी पड़ती है. जानकारी के लिए बता दें, सरकारी वकील की भर्ती सीधे तौर पर नहीं होती है. उनकी भर्ती पहले सहायक लोक अभियोजन अधिकारी (Assistant Public Prosecutor Officer) के पद पर होती है, जो प्रमोशन पाकर आगे सरकारी वकील बनते हैं. हालांकि, ये जरूरी नहीं है कि हर सहायक लोक अभियोजन अधिकारी आगे चलकर सरकारी वकील यानी लोक अभियोजन बनेंगे.
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सरकारी वकील सैलरी
सहायक लोक अभियोजन अधिकारी की भर्ती केंद्र और राज्य दोनों स्तर पर होती है, जिले संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) और राज्य लोक सेवा आयोग के माध्यम से की जाती है. वहीं, सरकारी वकील की सैलरी की बात करें तो यह पद, अनुभव और राज्य के हिसाब से अलग-अलग होती है. यूपीएससी के माध्यम से सरकारी वकील बनने वाले अधिकारियों की शुरुआती सैलरी आमतौर पर 50 हजार से 1.5 लाख रुपये प्रति महीने तक हो सकती है. जिसमें विभिन्न प्रकार के भत्ते और लाभ शामिल होते हैं.
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जानकारी के लिए बता दें, सहायक लोक अभियोजन अधिकारी बनने के लिए लॉ की डिग्री का होना अनिवार्य है. इसके साथ ही कंप्यूटर और इंटरनेट की बेसिक नॉलेज होना भी जरूरी है. वहीं, उम्र सीमा की बात करें तो यह 21 से 40 साल है. सरकारी वकील यानी लोक अभियोजन बनने के लिए 3 से 5 साल का अनुभव होना चाहिए.
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