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कोई नहीं था साथ, सिर्फ यूट्यूब और किताबें! जानवरों की डॉक्टर UPSC क्रैक करके बनी IAS अफसर

IAS Aakansha Anand: वह कई कैंडिडेट्स के लिए इंस्पिरेशन के रूप में खड़ी हैं, यह साबित करते हुए कि दृढ़ संकल्प और कड़ी मेहनत से किसी भी लक्ष्य को प्राप्त किया जा सकता है.

कोई नहीं था साथ, सिर्फ यूट्यूब और किताबें! जानवरों की डॉक्टर UPSC क्रैक करके बनी IAS अफसर
chetan sharma|Updated: Mar 24, 2025, 07:27 AM IST
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Veterinary doctor to IAS officer: डॉ. आकांक्षा आनंद की कहानी, एक वेटरनरी डॉक्टर से IAS अफसर बनने तक, कई लोगों के लिए इंस्पिरेशन का सोर्स है. बिहार के पटना शहर में जन्मी आकांक्षा के पिता, प्रवीण कुमार, हेल्थ डिपार्टमेंट में क्लर्क के रूप में काम करते हैं, जबकि उनकी मां, पुष्पा कुमारी, बख्तियारपुर में एक टीचर हैं. आकांक्षा ने शुरू में मेडिकल फील्ड में करियर बनाया और पटना वेटरनरी कॉलेज (2015-2020 बैच) से गोल्ड मेडल के साथ ग्रेजुएशन की उपाधि प्राप्त की.

वेटरनरी डॉक्टर का बैकग्राउंड होने के बावजूद, आकांक्षा का हमेशा से IAS अधिकारी बनने का सपना था. ग्रेजुएशन की पढ़ाई पूरी करने के बाद, उन्होंने UPSC सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी शुरू कर दी.. इसी बीच, उन्हें सीतामढ़ी में वेटरनरी ऑफिसर के रूप में नौकरी मिल गई, लेकिन उन्होंने अपनी IAS की तैयारी जारी रखी.

पहले अटेंप्ट में असफल

UPSC में उनका पहला अटेंप्ट असफल रहा, क्योंकि वह प्री एग्जाम पास नहीं कर सकीं. हालांकि, उन्होंने उम्मीद नहीं खोई. गाइडेंस के लिए उन्होंने सेल्फ स्टडी और यूट्यूब वीडियो पर भरोसा किया. उन्होंने अलग अलग संस्थानों से स्टडी मैटेरियल भी मंगवाया.

कितनी आई UPSC रैंक

वह 2022 में फिर से UPSC परीक्षा में शामिल हुईं और ऑल इंडिया रैंक 205 हासिल की. एक साल की ट्रेनिंग के बाद, उन्हें बिहार कैडर में IAS अधिकारी के रूप में नियुक्त किया गया. उन्होंने पढ़ाई के लिए रोजाना 8-10 घंटे दिए. मेन एग्जाम पास करने के बाद, वह कई मॉक इंटरव्यू में शामिल हुईं, जिससे उन्हें फाइनल राउंड में अच्छा प्रदर्शन करने में मदद मिली.

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कैंडिडेट्स के लिए इंस्पिरेशन

आज, वह कई कैंडिडेट्स के लिए इंस्पिरेशन के रूप में खड़ी हैं, यह साबित करते हुए कि दृढ़ संकल्प और कड़ी मेहनत से किसी भी लक्ष्य को प्राप्त किया जा सकता है. आकांक्षा ने यह साबित किया कि यदि आप अपने सपनों के प्रति समर्पित हैं, तो कोई भी बाधा आपको रोक नहीं सकती. उनका यह सफर उन सभी युवाओं के लिए एक मिसाल है जो अपने जीवन में कुछ बड़ा हासिल करना चाहते हैं.

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