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Jharkhand Politics: बीजेपी अपने सारे बड़े आदिवासी नेताओं को विधानसभा चुनाव में उतारेगी!

Jharkhand Politics: BJP ने झारखंड में 3 से 4 महीने बाद होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर तैयारी शुरू कर दी है. इस चुनाव में बीजेपी पूर्व केंद्रीय मंत्रियों सहित राज्य में बड़े कद वाले आदिवासी नेताओं को मैदान में उतारने की तैयारी कर रही है. 

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बीजेपी अपने सारे बड़े आदिवासी नेताओं को विधानसभा चुनाव में उतारेगी!
बीजेपी अपने सारे बड़े आदिवासी नेताओं को विधानसभा चुनाव में उतारेगी!
Zee Bihar-Jharkhand Web Team|Updated: Jul 02, 2024, 02:18 PM IST
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रांची: Jharkhand Politics: भारतीय जनता पार्टी झारखंड में तीन से चार महीने बाद होने वाले विधानसभा चुनाव में पूर्व केंद्रीय मंत्रियों सहित राज्य में बड़े कद वाले आदिवासी नेताओं को मैदान में उतारने की तैयारी कर रही है. मोदी 2.0 सरकार में जनजातीय मामलों और कृषि विभाग के मंत्री रहे अर्जुन मुंडा, मोदी 1.0 सरकार में राज्य मंत्री रहे सुदर्शन भगत, भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष समीर उरांव, पूर्व आईपीएस डॉ. अरुण उरांव, पूर्व सांसद गीता कोड़ा एवं सुनील सोरेन, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष ताला मरांडी जैसे नेताओं को उम्मीदवार बनाया जाना तय माना जा रहा है. 

इनके अलावा प्रदेश भाजपा अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी खुद मैदान में होंगे. 2019 के विधानसभा चुनाव में भाजपा ने आदिवासी सीटों पर खास प्रदर्शन नहीं किया था. हाल के लोकसभा चुनाव में भी आदिवासियों के लिए आरक्षित सभी पांच सीटों पर भाजपा को हार का सामना करना पड़ा. इसके बाद से ही पार्टी आदिवासी मतदाताओं के बीच पैठ बढ़ाने की रणनीति पर लगातार काम कर रही है. 

पार्टी का मानना है कि बड़े कद वाले आदिवासी नेताओं को उम्मीदवार बनाए जाने से उनकी सीटों के साथ-साथ आसपास की सीटों पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा. ये नेता किन सीटों से चुनाव लड़ेंगे, इसका फैसला इसी माह होने की उम्मीद है. राज्य में इस बार चुनावी लड़ाई को भाजपा कितनी गंभीरता से ले रही है, इसे इस बात से समझा जा सकता है कि रणनीति की कमान राष्ट्रीय स्तर के दो दिग्गज नेताओं शिवराज सिंह चौहान और हिमंता बिस्वा सरमा को सौंपी गई है. 

पार्टी सूत्रों के मुताबिक, संसद का सत्र समाप्त होने के बाद शिवराज सिंह चौहान यहां लंबे समय तक कैंप करेंगे. उनका राज्य के सभी प्रमंडलों में दौरा और कार्यकर्ता समागम का कार्यक्रम तैयार किया जा रहा है. हिमंता बिस्वा सरमा केंद्रीय नेतृत्व की ओर से दायित्व मिलने के बाद दो बार झारखंड आ चुके हैं. उन्होंने राज्य के बड़े आदिवासी नेताओं से उनके आवास पर जाकर व्यक्तिगत तौर पर मुलाकात की है और उनके साथ विमर्श कर आदिवासियों से जुड़े उन मुद्दों को समझा है, जिनका चुनाव पर असर पड़ सकता है. 
इनपुट-आईएएनएस के साथ

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