Haryana News: सीएम शहरी आवास योजना के तहत लाभार्थियों की जियो टैगिंग का काम तेजी से शुरू किया जा रहा है. नगर परिषद की MIS शाखा द्वारा बीते तीन दिनों से लाभार्थियों को फोन कर सेक्टर 20, पार्ट थ्री में बुलाया जा रहा है, जहां प्लॉट की मार्किंग भी की जा रही है. इस प्रक्रिया का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि जिन लोगों को योजना का लाभ मिल रहा है, वह सही तरीके से चिन्हित हों और निर्माण में पारदर्शिता बनी रहे.
पहले दी जाएगी इतनी राशी
जियो टैगिंग की मदद से अब यह साफ रूप से ट्रैक किया जा सकेगा कि मकान का निर्माण किस स्थिति में है. ताकी किसी भी तरह का फर्जीवाड़ा रोका जा सके, जिन लाभार्थियों का वेरीफिकेशन पूरा हो चुका है, उनके दस्तावेज आधार से लिंक कर दिए गए हैं. इस योजना के तहत सरकार पात्र व्यक्तियों को मकान निर्माण के लिए कुल ₹2.5 लाख की आर्थिक सहायता प्रदान करेगी. 30 गज के प्लॉट धारकों को यह राशि किश्तों में दी जाएगी. शुरुआत में पहली और दूसरी किश्त के रूप में ₹10,000-₹10,000 की राशि जारी की जाएगी. हालांकि, कुछ लाभार्थियों ने सरकार से यह अनुरोध किया है कि उन्हें किश्तों की राशि अदा करने में कठिनाई हो रही है.
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इसके साथ ही पीएम आवास योजना 2.0 के अंतर्गत 3 श्रेणियों में अब तक 22,000 से अधिक आवेदन प्राप्त हो चुके हैं. इनमें अफोर्डेबल हाउसिंग पार्टनरशिप, बेनीफिशरी लैंड और इंटरस्ट सब्सिडी स्कीम शामिल हैं. बेनीफिशरी लैंड कैटेगरी के तहत उन लोगों को लाभ मिलेगा, जिनके पास खुद का प्लॉट है, बशर्ते वह खाली हो या मकान की छत कच्ची हो. हालांकि, 854 आवेदकों में से 122 लोगों के पते अब तक सत्यापित नहीं हो सके हैं. जांच टीम जब मौके पर पहुंची तो आवेदक या उनके मकान मालिकों से संपर्क नहीं हो सका.