Haryana Displaced Persons Scheme: पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट के दिशा निर्देशों के बाद 18 शहरों के लोगों को आवसीय प्लॉट मिलने की उम्मीद जाग गई है, जिनकी जमीन को शहरों में नये सेक्टरों को विकसित करने के लिए अधिगृहित किया गया था. वहीं प्रदेश सरकार ने जमीन अधिग्रहण के बाद सेक्टर काट दिए थे, लेकिन जमीन मालिकों को सरकार की नीति के मुताबिक इन सेक्टों में आवसीय प्लॉट नहीं मिले थे.
इन शहरों में काटे गए थे सेक्टर
हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण ने गुरुग्राम-एक, गुरुग्राम-दो, पंचकूला, अंबाला, कुरुक्षेत्र, जगाधरी, करनाल, पानीपत, सोनीपत, फरीदाबाद, रेवाड़ी, रोहतक, बहादुरगढ़, सिरसा, कैथल, भिवानी, हिसार व जींद में नये आवासीय सेक्टर विकसित करने के लिए किसानों की जमीन अधिगृहित की थी. 10 सितंबर 1987 के बाद सेक्टर विकसित करने की योजना के तहत इन शहरों में सेक्टर काटे गए थे. कुछ जमीन को इसलिए अधिृगहित किया गया था क्योंकि उन्हें सेक्टरों में सुधार और विकसित किया जाना था. वहीं जिन लोगों की जमीन अधिगृहित हुई थी, उन लोगों को प्लॉट देने प्रस्तावित थे. लेकिन सरकार ने उन्हें विस्थापित श्रेणी में रखा था.]
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हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण ने 31 मई तक मांगे आवेदन
हाई कोर्ट में दायर विभिन्न याचिकाओं का निपटारा करते हुए हरियाणा सरकार को अपनी नीति के मुताबिक जमीन मालिकों को अधिग्रहण के बदले में आवासीय प्लॉट देने के निर्देश दिया गया. वहीं हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण ने 31 मई तक आवेदन मांगे हैं. हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण हाई कोर्ट के निर्देशों के बाद कहा कि इन सेक्टरों से जुड़े विस्थापित 50 हजार रुपये की सिक्योरिटी राशि के साथ प्लॉट के लिए आवेदन करें. इस योजना के लाभ के लिए यह आखिरी अवसर होगा, जिसके बाद शहरी संपदा की इस योजना का कोई लाभ नहीं मिलेगा.
Input: Vijay Rana