DNA on Indian Airspace Use in US attack on Iran: दुनिया ईरान-इजरायल जंग के असर को लेकर चिंतित है तो भारत के कुंठा क्लब की चिंता कुछ और ही है. प्रसिद्ध अमेरिकी लेखक मार्क ट्ववैन ने कहा है कि सच जब तक अपने जूते पहन रहा होता है, तब तक झूठ आधी दुनिया का सफर तय कर लेता है. समय जब युद्ध का हो तो झूठ का प्रचार प्रसार और तेजी से होता है. अब हम ऐसे ही एक झूठ का विश्लेषण करेंगे. जो हमारे देश में रहने वाले कुंठा क्लब की ओर से फैलाया जा रहा है.
अमेरिका ने जब ईरान की तीन न्यूक्लियर साइट्स पर अटैक किया. उसके बाद सोशल मीडिया पर एक्टिव कुंठा क्लब के सदस्यों की पोस्ट्स प्रकट हो गईं. इन पोस्ट्स में दावा किया गया कि भारत ने ईरान के परमाणु ठिकानों पर बम बरसानेवाले अमेरिकी एयरक्राफ्ट्स को अपना हवाई स्पेस इस्तेमाल करने की इजाजत दी. हम आपको विस्तार से बताएंगे की ऐसी पोस्ट्स के पीछे का मसकद क्या था.
अमेरिकी बॉम्बर्स ने किया भारत के एयरस्पेस का इस्तेमाल?
दावा किया गया कि अमेरिकी बॉम्बर्स ने भारत के एयरस्पेस का इस्तेमाल किया. इसके बाद इसी यूजर का एक दूसरा पोस्ट आता है. पाकिस्तान मीडिया ने कंफर्म कर दिया है कि अमेरिकी बॉम्बर्स ने भारतीय एयरस्पेस का इस्तेमाल किया. सोचिए जिस युद्ध में ना तो रूस उतरा, ना चीन उतरा. उस युद्ध में सोशल मीडिया पर सक्रिय कुंठा क्लब के सदस्यों ने मौका देखते ही एंट्री कर ली. इतना ही नहीं इन्होंने अपना पक्ष भी चुन लिया. कुंठा क्लब ईरान से हमदर्दी जताने लगा और सोशल मीडिया पर भारत विरोधी प्रोपेगेंडा का प्रसार करने लगा.
कुंठा क्लब को लगा कि उन्हें भारत विरोध का बड़ा अवसर मिल गया है. कुंठा क्लब के सदस्य सुपर एक्टिव हो गए और सोशल मीडिया पर पोस्ट करने लगे कि भारत ने ईरान पर हमले के लिए अपना एयरस्पेस अमेरिकी बॉम्बर्स को दिया. अब जरा कुंठा क्लब के सदस्यों का आईक्यू लेवल भी चेक कर लेते हैं. इनकी पोस्ट्स का गौर से विश्लेषण करने पर सामान्य व्यक्ति भी पहली नज़र में ही कहेगा ये प्रोपेगैंडा हैं.
कुंठा क्लब ने उड़ा दी अफवाह!
उनकी पोस्ट में कहीं लिखा है कि पाकिस्तानी मीडिया में ऐसा कहा. कहीं किसी विदेशी सोर्स के हवाले से दावा किया गया है कि अमेरिकी बॉम्बर्स ने भारतीय एयरस्पेस का इस्तेमाल किया. बेहद गंभीर आरोप लगानेवाले कुंठा क्लब के सदस्यों के पास जानकारी का कोई पुख्ता स्रोत नहीं था. इन्हें कहीं से भी भारत विरोधी भ्रम फैलाने वाली खबर दिखी और इसी आधार पर सवाल उठाना शुरू कर दिया.
यहां हम आपको ये भी बताना चाहेंगे कि जिन पोस्ट्स में भारतीय एयरस्पेस के इस्तेमाल की बात कही गई थी. उन्हीं पोस्ट्स में नीचे ही रीडर कंटेस्ट वाले सेक्शन में साफ-साफ बता दिया गया था कि जो जानकारी दी जा रही है वो गलत है. लेकिन कुंठा क्लब को इससे भी फर्क नहीं पड़ा. कुंठा क्लब वाले एक सज्जन ने तो ऐसी ही पोस्ट शेयर कर सरकार से सवाल पूछ दिया.
पीआईबी ने बता दी पूरी सच्चाई
कुंठा क्लब के प्रोपेगेंडा से लोग भ्रमित ना हों, आम लोगों तक कोई गलत जानकारी नहीं पहुंचे इसके लिए पीआईबी फैक्ट चेक ने एक पोस्ट किया और बताया कि ऑपरेशन मिडनाइट हैमर के दौरान अमेरिका ने भारतीय एयर स्पेस का उपयोग नहीं किया था. पीआईबी फैक्ट चेक ने कुंठा क्लब के सदस्यों को याद दिलाया कि अमेरिका के ज्वाइंट चीफ ऑफ स्टाफ जनरल डैन केन ने बताया है कि अमेरिकी बॉम्बर्स किस रास्ते से ईरान तक पहुंचे थे.
यहां हम आपको याद बताना चाहेंगे कि एक जिम्मेदार देश होने के नाते भारत ने मिडिल ईस्ट में शांति और स्थिरता पर जोर दिया है. भारत साफ कर चुका है कि वो शांति के पक्ष में हैं. अब सवाल ये है कि भारत के ऑफिशियल रुख के बाद भी कुंठा क्लब ने इस नैरेटिव को क्यों आगे बढ़ाया. इसे समझने के लिए हमें कुंठा क्लाब की ब्रेन मैपिंग करनी होगी.
ध्वस्त हो गया कुंठा क्लब का नैरेटिव
दरअसल कुंठा क्लब के दिमाग में हमेशा भारत विरोधी विचार कुलांचे मारते रहते हैं. कुंठा क्लब को दुनिया में भारत की बढ़ती ताकत द्वेष होता है. कुंठा क्लब को दुनिया में भारत के बढ़ते सम्मान से भय होता है. इसलिए कुंठा क्लब हमेशा ऐसे नैरेटिव को आगे बढ़ता है, जिससे भारत की छवि दुनिया में खराब हो. कुंठा क्लब एक खास नजरिए से अपना नैरेटिव गढ़ता है.
ईरान मुस्लिम बहुल देश है. इसलिए कुंठा क्लब ने इस नैरेटिव को आगे बढ़ाया कि एक मुस्लिम बहुल देश पर हमले के लिए भारत ने अपना एयर स्पेस अमेरिका को इस्तेमाल करने दिया. कुंठा क्लब का मकसद देश के एक खास वर्ग को संदेश देना था कि भारत के सरकार की सोच ईरान विरोधी है. लेकिन कुंठा क्लब के इस नैरेटिव पर PIB फैक्ट चेक ने तथ्यों की बमवर्षा कर फेल कर दिया.
यहां हम आपसे यही कहना चाहेंगे कि आप भी अगर सोशल मीडिया पर किसी बड़े नाम वाले सज्जन की पोस्ट को सही मानकर उससे अपना मत बना रहे हैं तो थोड़ा सोचिए, विचार कीजिए. पोस्ट करनेवाले का इतिहास खंगालिए. हो सकता है कि जिसे आप विद्वान और तार्किक सोच का व्यक्ति समझ रहे हों वो अपने खास मकसद से तथ्यों में मिलावट कर आपको भ्रमित कर रहा हो. हम आपसे यही कहेंगे कि आप ऐसे लोगों की पहचान करने के साथ ही दूसरे को भी इनसे सावधान करें.
Breaking News in Hindi और Latest News in Hindi सबसे पहले मिलेगी आपको सिर्फ Zee News Hindi पर. Hindi News और India News in Hindi के लिए जुड़े रहें हमारे साथ.