Hospital Corruption Story: शहडोल। मध्य प्रदेश के इस शासकीय अस्पताल में प्राइवेट अस्पतालों से भी ज्यादा फीस ऑपरेशन के नाम पर मरीजों से ली जाती है. आए दिन ऑपरेशन के नाम पर पैसा लेने का मामला सामने आ आ रहा है. बावजूद इसके अस्पताल प्रबंधन ठोस कार्रवाई करने में उदासीन रवैया अपना रहा है. इससे यह साबित होता है कि प्रबंधन की मिली भगत से शासकीय चिकित्सक बेखौफ मरीज से पैसा लेकर उपचार कर रहे हैं.
विधायक के ड्राइवर से लिए पैसे
एक मामला सामने आया है जिसमें बीजेपी विधायक जैतपुर के वाहन चालक शिवा यादव से ऑपरेशन के नाम पर एक डॉक्टर ने 4000 रुपये ले लिए. वहीं जब इस बात की जानकारी विधायक को लगी तो वह अस्पताल पहुंचकर सिविल सर्जन को मामले से अवगत कराया. बाद में मामला तूल पकड़ते देख चिकित्सक ने पैसे वापस करने की बात कही है.
पूर्व मुख्य चिकित्सक का संबंधी
बताया गया कि जैतपुर के विधायक जयसिंह मरावी के वाहन चालक से डॉक्टर 5000 रुपए की मांग की थी, जिसके एवज में चालक ने 4000 रुपये दे दिया. हालांकि, चिकित्सक ने पैसा वापस किया या नहीं इस बात की जानकारी अस्पताल प्रबंधन ने नहीं दी है. बताया जाता है कि पैसा लेने वाला चिकित्सक सेवानिवृत मुख्य चिकित्सा का संबंधी है. इस कारण प्रबंधन उस पर ठोस कार्रवाई करने में कतरा रहा है.
पहले भी आए हैं ऐसे मामले
विधायक के वाहन चालक से पैसा लेने का यह कोई पहला मामला नहीं है, इसके पहले एक शिक्षक से पेट में पथरी के ऑपरेशन के लिए जिला अस्पताल के एक डॉक्टर ने 15000 रुपये लेकर ऑपरेशन किया था. इस तरह अस्पताल में पूर्व में भी ऐसे कई मामले आ चुके हैं. डॉक्टर हर्निया, हाइड्रोसील, पथरी, के अलावा अन्य सर्जरी के नाम पर मरीज से मोटी रकम लेने के बाद ऑपरेशन करते हैं.
अस्पताल के हालात खराब
प्रबंधन को कई बार इसकी शिकायत भी की जा चुकी है. लेकिन, अब तक पैसों के इस खेल में प्रबंधन अंकुश नहीं लगा पा रहा है. जिसका नतीजा अब यह हुआ कि डॉक्टर के हौसले इतने बुलंद हो गए की विधायक के वाहन चालक से भी ऑपरेशन के नाम पर पैसा ले लिया. इसे यह सहज अंदाजा लगाया जा सकता है कि जब जिला चिकित्सालय में पदस्थ डॉक्टर विधायक के वाहन चालक से पैसा ले सकते हैं तो अन्य मरीजों से ऑपरेशन के नाम पर कितने पैसे वसूलते होंगे.