trendingNow/india/madhya-pradesh-chhattisgarh/madhyapradesh12606420
Home >>Madhya Pradesh - MP

प्रिंसिपल का छात्राओं पर जुल्म! परीक्षा देने से रोका, बोला- 'तुम पढ़-लिखकर क्या करोगी...'

MP News: राजगढ़ में स्कूल के प्रिंसिपल ने छात्राओं को परीक्षा में बैठने से मना कर दिया. इतना ही नहीं उन्होंने अभद्र भाषा का भी इस्तेमाल किया, जिसके बाद छात्राओं ने राजगढ़ के एडीएम से शिकायत की है.  

Advertisement
rajgarh girl students accused their principal
rajgarh girl students accused their principal
Zee News Desk|Updated: Jan 18, 2025, 01:36 PM IST
Share

Rajgarh Students News: मध्य प्रदेश के राजगढ़ से एक हैरान कर देने वाली घटना सामने आई है, जहां एक स्कूल प्रिंसिपल ने छात्राओं को परीक्षा में बैठने से मना कर दिया. मना करने के अलावा प्रिंसिपल ने छात्राओं से अपमानजनक शब्दों में बात भी की. जिसके बाद छात्राएं अपने परिजनों के साथ कलेक्ट्रेट पहुंचीं और यहां उन्होंने कलेक्टर को स्कूल प्रिंसिपल के खिलाफ लिखित शिकायत दर्ज कराई.

क्या है पूरा मामला
दरअसल, राजगढ़ के कन्या शाला विद्यालय की 12वीं की छात्राओं को उनके स्कूल प्रिंसिपल ने स्कूल में चल रही प्री-बोर्ड परीक्षा में बैठने से मना कर दिया. उन्होंने न केवल मना किया, बल्कि कई अपशब्दों का प्रयोग भी किया और छात्राओं से कहा,  "तुम्हारी पढ़ने की औकात नहीं है, तुम पढ़-लिखकर क्या करोगी." जिसके बाद मामला गंभीर हो गया और राजगढ़ के एडीएम से शिकायत की गई. स्कूल प्रिंसिपल की पहचान हेमलता हाड़ा के रूप में हुई है.

अपमानजनक शब्दों का इस्तेमाल
छात्रों का कहना है कि पेपर वाले दिन हमारी क्लास परीक्षा के बाद लगनी थी, लेकिन वे पेपर देकर अपने घर चली गई थीं. क्योंकि उन्होंने अपने परिजनों को नहीं बताया था कि वे देर से आएंगी, जिसके कारण सभी छात्राएं उस दिन क्लास में नहीं आ पाईं. जब ​​प्रिंसिपल को इस बारे में पता चला तो वे नाराज हो गए और उन्होंने हमें अगले दिन प्री-बोर्ड पेपर में बैठने नहीं दिया और कहा कि अपने अभिभावकों को साथ लेकर आओ. उन्होंने हमारी पढ़ाई को लेकर कई अपमानजनक शब्दों का भी इस्तेमाल किया.

माता पिता करते हैं मजदूरी
छात्रों ने आगे बताया कि उनके माता-पिता मजदूर हैं और वे उन्हें काम के समय कैसे बुलाकर ले जा सकते हैं. जब वे अपने परिवार के सदस्यों को साथ नहीं ले गए तो प्रिंसिपल और अधिक क्रोधित हो गए और डंडे से पीटने की बात करने लगे, जिससे हमारे मन में डर पैदा हो गया. प्रिंसिपल द्वारा इस्तेमाल किए गए अपमानजनक शब्दों का हमारे मानसिक स्वास्थ्य पर गहरा असर पड़ा है. उनकी बातें सुनकर हमें बहुत बुरा लगा और इसका असर हमारी पढ़ाई पर भी पड़ रहा है.

प्रिंसिपल का बयान
मामले की खबर मिलते ही प्रिंसिपल ने अपना पक्ष रखना शुरू कर दिया. प्रिंसिपल ने कहा कि ये छात्राएं अक्सर स्कूल में लगने वाली कक्षाओं में हिस्सा नहीं लेती. प्रिंसिपल ने आगे कहा कि मैंने किसी भी छात्रा को परीक्षा में बैठने से मना नहीं किया है, लेकिन हां, मैंने उनसे अपने परिजनों को बुलाने के लिए जरूर कहा था. प्रिंसिपल के बयान के बाद राजगढ़ के एडीएम ने जिला शिक्षा अधिकारी को मामले की जांच के निर्देश दिए हैं और कहा है कि अगर आरोपी पाया जाता है तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.

Read More
{}{}