Bharatpur News: चिकित्सा शिक्षा मंत्री गजेन्द्र सिंह ने मंगलवार को विधानसभा में कहा कि आरबीएम चिकित्सालय भरतपुर के विस्तार का कार्य इस साल जून माह तक पूरा कर लिया जाएगा.
उन्होंने आश्वस्त किया कि निर्माण कार्य पूरा होने के बाद यहां रिक्त पदों को भरा जाएगा और सुपर स्पेशलिटी सुविधाओं को भी शुरू किया जाएगा. साथ ही निर्माण कार्य में देरी के लिए संवेदक पर नियमानुसार पेनल्टी लगाई जाएगी. अभी तक संवेदक पर 30 लाख की पेनल्टी लगाई जा चुकी है.
चिकित्सा शिक्षा मंत्री प्रश्नकाल के दौरान सदस्य द्वारा इस संबंध में पूछे गए पूरक प्रश्नों का जवाब दे रहे थे. उन्होंने कहा कि आरबीएम चिकित्सालय के विस्तार कार्यों के लिए 154.62 करोड़ की वित्तीय स्वीकृति जारी की गई थी. इसके विरुद्ध अब तक 123.20 करोड़ रुपये का भुगतान किया जा चुका है.
उन्होंने बताया कि संवेदक द्वारा का निर्माण कार्य 17 दिसम्बर 2021 को शुरू कर माह जून 2023 तक पूरा किया जाना था लेकिन संवेदक द्वारा 27 दिसम्बर 2021 को शुरू किया गया. साथ ही निर्धारित समय सीमा में पूरा नहीं किया गया. अब संवेदक द्वारा 30 जून 2025 तक कार्य पूरा करने के लिए कहा गया है.
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ने बताया कि कार्य में देरी के लिए 28 फरवरी 2025 को संवेदक पर 30 लाख रुपये की पेनल्टी आरोपित की जा चुकी है. उन्होंने कहा कि समिति का गठन कर आगे और भी पेनल्टी लगाने के संबंध में निर्णय लिया जाएगा.
उन्होंने बताया कि आरबीएम अस्पताल में मरीजों की अधिक संख्या को देखते हुए इसका विस्तार कार्य किया जा रहा है. वर्तमान में यहां 11 सुपर स्पेशलिटी सुविधाएं स्वीकृत हैं लेकिन केवल 3 यूरोलॉजी, न्यूरोलॉजी और कार्डियोलॉजी ही संचालित हैं. नेफ्रोलॉजी की सुविधा उपलब्ध नहीं है.
पूर्ववर्ती सरकार द्वारा यहां 6 और सुपर स्पेशलिटी सुविधाएं एन्डोक्रिनोलॉजी, गेस्ट्रो, गेस्ट्रो सर्जरी, मेडिकल ओंकोलॉजी, ओंकोलॉजी सर्जरी और प्लास्टिक सर्जरी शुरू करने की घोषणा तो की गई लेकिन इस दिशा में आगे कोई कार्रवाई नहीं की गई.
उन्होंने आश्वस्त किया कि निर्माण कार्य पूरा होने के बाद यहां सुपर स्पेशलिटी सुविधाओं को शुरू किया जा सकेगा. इससे पहले विधायक सुभाष गर्ग के मूल प्रश्न के लिखित जवाब में चिकित्सा शिक्षा मंत्री ने कहा कि भरतपुर के आर.बी.एम चिकित्सालय के द्वितीय फेज का निर्माण कार्य 30 जून, 2025 तक पूर्ण किया जाना प्रस्तावित है.
उन्होंने कहा कि संवेदक के साथ कार्यकारी एजेंसी द्वारा अनुबन्ध के अनुसार, कार्य समय पर पूर्ण नहीं किए जाने पर संवेदक के विरूद्ध शास्ति आरोपित कर शेष राशि का भुगतान किए जाने का प्रावधान है. संवेदक पर निर्माण कार्य समय पर पूर्ण नहीं किए जाने के कारण कार्यकारी एजेंसी के परियोजना निदेशक आर.एस.आर.डी.सी. नि. इकाई भरतपुर द्वारा राशि रुपये 30 लाख की अंतरिम शास्ति आरोपित की गई है.