Ramanand Sagar Ramayan Facts: पूरे देश में अयोध्या राम जन्मभूमि में बने राम मंदिर के उद्घाटन के लिए जोर-शोर से तैयारी चल रही हैं. जिधर देखो, उधर ही जय श्री राम नाम की गूंज मची हुई है. वहीं टेलीविजन की दुनिया के भगवान यानी की राम-सीता-लक्ष्मण तीनों ही अयोध्या पधार चुके हैं. इन सब लोगों के बीच में टेलीविजन सीरियल रामायण में हनुमान का किरदार निभाने वाले दारा सिंह को भी लोग खूब याद कर रहे हैं. राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा के बीच लोगों को रामानंद सागर की रामायण के सभी कैरेक्टर एक-एक करके याद आ रहे हैं और लोग उनसे जुड़े नए-नए दिलचस्प किस्से सुन रहे हैं.
हाल ही में सीरियल रामायण में हनुमान का रोल निभाने वाले दारा सिंह के बारे में कुछ बातों का खुलासा हुआ है, जिन्हें जानने के बाद लोग उन्हें नमन कर रहे हैं. भले ही दारा सिंह इस दुनिया में नहीं हैं लेकिन उनके त्याग को आज भी करोड़ों राम भक्त प्रणाम कर रहे हैं. यह खुलासा किसी और ने नहीं बल्कि जाने-माने निर्देशक रामानंद सागर के बेटे प्रेम सागर ने किया है, जो की खुद एक फिल्म मेकर हैं.
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1980 के शो रामायण की मेकिंग प्रेम सागर ने की थी और इस सीरियल ने पॉपुलैरिटी के सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए थे. प्रेम सागर ने एक बार इंटरव्यू में बताया था कि रामायण में हनुमान जी का रोल निभाने वाले दारा सिंह का भारी मेकअप करना पड़ता था. इसके चलते वह 9 घंटे कुछ नहीं खाते थे. इतना ही नहीं, प्रेम सागर यह भी कहा कि उनके पिता रामानंद सागर एक 'पागल आदमी' की तरह काम करने में लगे रहते थे और सुबह 4:00 बजे भी शूटिंग करते थे.
9 घंटे तक भूखे रहते थे दारा
'लहरें' के साथ हुए एक इंटरव्यू में प्रेम सागर ने दारा सिंह की तारीफ की थी और बताया था कि उनके मेकअप में तीन से चार घंटे का समय लगता था. उस समय प्रोस्थेटिक ना होने की वजह से उन्हें हनुमान जी के लुक से मैच करना पड़ता था. उनकी पूंछ भी लगी हुई थी तो ऐसे में सवाल उठता था कि आखिर वह बैठेंगे कहां? उनके लिए खास स्टूल रखा गया था, जिसमें कट लगा हुआ था. इस पर वह अपनी पूंछ के सहारे बैठ पाते थे. वहीं अगर एक बार हनुमान जी के चेहरे पर मास्क लग जाता था तो उनका खाना-पीना दूभर हो जाता था. ऐसे में दारा सिंह 8 से 9 घंटे तक कुछ भी नहीं खाते थे.
वानर सेना का मेकअप था कठिन
प्रेम सागर रामायण मेकिंग में होने वाली कठिनाइयों के बारे में बात करते हुए बताते हैं कि उसे समय सबसे बड़ी समस्या वानर सेना की थी. वानर सेना के लिए करीब 500 लोगों की जरूरत थी. ऐसे में मेकअप में बहुत ज्यादा समय लगता था. वहीं, वानर सेना बने एक्टर्स के लिए मुखपत्र बनाने के लिए सूखे नारियल का इस्तेमाल किया जाता था.
दहन शूट के लिए हुई थी खास प्लानिंग
निर्देशक रामानंद सागर के बेटे प्रेम सागर ने यह भी बताया कि लंका दहन का सीन रामानंद सागर और उनकी टीम ने बहुत ही सोच विचार के साथ तैयार किया था. इसके सीक्वेंस के लिए राइटिंग की गई थी और तकनीक को भी खास ध्यान में रखा गया था. दिवंगत एक्टर दारा सिंह की एक्टिंग की वजह से वह सीन आज भी लोगों के जहन में जिंदा है. हनुमान जी के सींस के लिए नकली पूछ बनाने वाले को खास तौर पर काम पर रखा गया था. प्रेम सागर बताते हैं कि लंका दहन वाले सीन के लिए दारा सिंह को कई घंटे भूखा रहना पड़ता था. इस सीन को शूट करने में बड़ी मुश्किल हुई थी.