Jhalawar News: राजस्थान के झालावाड़ जिले के भवानीमंडी के सरकारी अस्पताल में डिलीवरी के बाद प्रसुताओं की मौत का मामला तूल पकड़ता जा रहा है. शनिवार को प्रसूता कविता बाई की भी डिलीवरी के बाद मौत हो गई. इस घटना के विरोध में रविवार सुबह मृतका कविता बाई के परिजन जिला अस्पताल की मोर्चरी के बाहर धरने पर बैठ गए.
परिजनों ने भवानीमंडी के सरकारी डॉक्टर पर गंभीर आरोप लगाए हैं. उनका कहना है कि डॉक्टर ने डिलीवरी के लिए 4 हजार रुपये की रिश्वत ली और इलाज में लापरवाही बरती. परिजनों ने डॉक्टर के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज करने की मांग की है.
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परिजनों ने 25 लाख रुपये का मुआवजा, प्रसूता के परिजन को सरकारी नौकरी, नवजात के पालन-पोषण की जिम्मेदारी सरकार द्वारा लिए जाने की मांग की है. परिजनों ने पोस्टमार्टम की कार्रवाई से भी इनकार कर दिया है.
झालावाड़ डीएसपी हर्षराज सिंह खरेड़ा मौके पर पहुंचकर परिजनों को समझाने का प्रयास कर रहे हैं. हालांकि, परिजन और ग्रामीण अपनी मांगों पर अड़े हुए हैं. गौरतलब है कि शनिवार को भवानीमंडी के अस्पताल में दो प्रसूताओं की मौत के बाद परिजनों ने हंगामा किया था. इनमें से कविता बाई के शव का पोस्टमार्टम आज सुबह झालावाड़ के जिला अस्पताल में मेडिकल बोर्ड से होना था लेकिन पोस्टमार्टम से पहले ही परिजन अपनी मांगों को लेकर मोर्चरी के सामने धरने पर बैठ गए.
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इधर मामले में जिला कलेक्टर के निर्देश के बाद मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉक्टर साजिद खान ने भवानीमंडी के सरकारी अस्पताल में हुई घटना को लेकर प्रसूता कक्ष में मौजूद ड्यूटी डॉक्टर सहित कुल पांच कार्मिकों को एपीओ कर दिया है.