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नीम करोली बाबा के दर से कोई नहीं लौटेगा खाली हाथ, 3 दिन तक बंटेगा मालपुआ का प्रसाद, ऐसी है कैंची धाम मेले की व्‍यवस्‍था

Neem Karoli Baba Mela: कैंची धाम में लगने वाले मेले में इस बार खास व्‍यवस्‍था की गई है. कैंची धाम में अव्यवस्था ना हो, जाम ना लगे, इसके लिए पुलिस प्रशासन अलर्ट मोड में है. एसएसपी प्रहलाद नारायण मीणा ने ट्रैफ‍िक प्‍लान की जानकारी दी है.  

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Kainchi Dham Mela
Kainchi Dham Mela
Zee Media Bureau|Updated: Jun 14, 2025, 02:53 PM IST
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Neem Karoli Baba Mela 15 June: विश्व प्रसिद्ध बाबा नीम करोली महाराज के धाम का स्थापना दिवस 15 जून को हर्ष और उल्लास के साथ मनाया जाएगा. कैंची धाम में अव्यवस्था ना हो, जाम ना लगे, इसके लिए पुलिस प्रशासन अलर्ट मोड में है. एसएसपी प्रहलाद नारायण मीणा ने बताया 14 जून से 15 जून तक कैंची धाम भवानी क्षेत्र में वाहनों की आवाजाही पूर्ण रूप से प्रतिबंधित रहेगी. कैंची धाम आने वाले भक्तों को शटल सेवा वाहनों के माध्यम से धाम तक लाया जाएगा. इसके अलावा अल्मोड़ा और पिथौरागढ़ की तरफ जाने वाले यात्रियों को खुटानी और नथुबाखान होते हुए दूसरे मार्गो से भेजा जाएगा. 

इस बार पांच लाख भक्‍तों के आने की आशंका
बताते चलें कि कैंची धाम की स्थापना दिवस के मौके पर हर साल करीब 3 लाख से अधिक भक्त बाबा नीम करोली महाराज के दर्शनों के लिए आते हैं. बीते कुछ समय से लगातार कैंची धाम में भक्तों की भीड़ बढ़ रही है. इसको देखते हुए इस बार उम्मीद लगाई जा रही है कि भक्तों की संख्या 5 लाख तक पहुंच सकती है. कैंची धाम में भक्तों की तेजी से बढ़ रही संख्या को देखते हुए मंदिर प्रशासन भी अलर्ट मोड में है. इस बार मंदिर प्रशासन ने तीन दिनों तक मालपुआ के प्रसाद को वितरण करने का फैसला किया है. एसएसपी प्रहलाद नारायण मीणा ने बताया कि 15 जून से 17 जून तक मंदिर परिसर में भक्तों को दर्शन कराए जाएंगे. साथ ही विशेष मालपुआ का प्रसाद भी दिया जाएगा. 

नीम करोली बाबा के चमत्‍कारी किस्‍से
कहा जाता है एक बार मंदिर में भंडारे का आयोजन था भंडारा आधा हुआ था. इसी दौरान अचानक भंडारे में घी खत्म हो गया और भंडारे में पुरी व अन्य पकवान बनाने का काम बंद होने लगा तो सेवक बाबा नीम करौली के पास पहुंचे तो उन्होंने बताया कि ही खत्म हो गया है. इसके बाद बाबा नीम करोली महाराज ने कहा कि बगल में बह रही शिप्रा नदी से आवश्यकता अनुसार पानी ले आओ जिससे भंडारे का प्रसाद बन जाएगा. 

भंडारे में खत्‍म हो गया था घी
बाबा की आज्ञा मानकर सेवक नदी से पानी ले आया और उसे पूरी समेत अन्य प्रसाद बनाएं. जब भंडारा समाप्त हो गया तो उसके बाद बाजार से उतना ही घी जितना सेवकों ने नदी से पानी लिया था नदी में डालकर वापस नदी को दे दिया गया. यह केवल एक उदाहरण मात्र है जो बाबा नीम करोली महाराज का चमत्कार था. ऐसे ही हजारों चमत्कार है जो बाबा नीम करोली महाराज अपने भक्तों के साथ करते हैं. 

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