प्रयागराज/मोहम्मद गुफरान: केंद्रीय कारागार की हाई सिक्योरिटी सेल में बंद माफिया अतीक अहमद के बेटे अली अहमद से मुलाकात करना आसान नहीं होगा. अतीक के बेटे अली से जेल में मुलाकात पर रोक लग गई है. मुलाकात के लिए कोर्ट या फिर सक्षम अधिकारियों की अनुमति लेनी होगी. ये सख्ती हाईसिक्योरिटी सेल में बंद अली की बैरक से नगदी मिलने के बाद की गई है.
अली से जेल में मुलाकात पर रोक
माफिया अतीक के बेटे अली से जेल में मुलाकात पर रोक लगाई गई है. कोर्ट की अनुमति या फिर सक्षम अधिकारियों की अनुमति के बगैर अली से जेल में मिलाई नहीं हो पाएगी. वकील भी बिना कोर्ट या फिर सक्षम अधिकारियों की अनुमति के अली से मिल नहीं पाएंगे.
अली के पास से मिली थी नगदी
17 जून को नैनी सेंट्रल जेल में डीआईजी जेल ने छापेमारी की कार्रवाई की थी. डीआईजी के छापे में अली की बैरक से नगदी बरामद हुई थी. नगदी मिलने के बाद डिप्टी जेलर और वार्डन को निलंबित कर दिया गया.
केंद्रीय कारागार की हाई सिक्योरिटी सेल में बंद माफिया अतीक अहमद के बेटे अली अहमद के पास से मिली नकदी की जांच के लिए तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया गया है. डीजी जेल प्रेमचंद मीणा के निर्देश पर गठित कमेटी शनिवार से अपना काम शुरू कर दिया है. जांच टीम माफिया के बेटे की बैरक तक नगदी पहुंचने की जांच करेगी. हर एंगल से इस मामले की जांच की जाएगी.जेल कर्मियों के बयान के साथ सीसीटीवी कैमरे के फुटेज की जांच की जाएगी.हाई सिक्योरिटी सेल में बंद अली हमेशा सीसीटीवी कैमरे की नजर में रहता है. इसके साथ ही उसकी बैरक के बाहर बंदी रक्षकों की तैनाती की गई है. ऐसे में उसके पास नकद पैसा कैसे पहुंचा? इसे जेल प्रशासन की बड़ी चूक मानी जा रही है.
किसने दी थी नकदी?
बताया जा रहा है कि सोमवार को अली अहमद से मिलने एक अधिवक्ता जेल पहुंचा था. सीसीटीवी कैमरों की निगरानी में हुई मुलाकात के दौरान उसने अली को पैसा दिया. हालांकि जेल नियमों के अनुसार, बंदियों को सीधे नकदी नहीं दी जा सकती. नकद राशि से जेल के अंदर केवल कूपन के जरिए सामान खरीदा जा सकता है, लेकिन अली ने ऐसा नहीं किया और पैसे अपने पास रख लिए. सीसीटीवी फुटेज से इस पूरी घटना का खुलासा हुआ, जिसके बाद जेल प्रशासन में हड़कंप मच गया था.