Lucknow : लोकसभा में 'ऑपरेशन सिंदूर' पर चर्चा के दौरान समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने केंद्र की मोदी सरकार पर जमकर सवालों के तीर चलाए. अखिलेश यादव ने कहा कि पर्यटकों की सुरक्षा में चूक के लिए सरकार जिम्मेदार है. उन्होंने पूछा, “ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सरकार ने कदम पीछे क्यों खींचे? ऐसा लग रहा था कि पीओके पर भारत का कब्जा हो जाएगा, लेकिन अचानक सब कुछ ठंडा पड़ गया.” उन्होंने कटाक्ष करते हुए कहा कि सरकार के मित्र ने सीजफायर की घोषणा कर दी और पूरा माहौल ही बदल गया.
'ऑपरेशन महादेव' को लेकर अखिलेश के सवाल
सपा प्रमुख ने हाल ही में जम्मू-कश्मीर में हुए ‘ऑपरेशन महादेव’ को लेकर भी सवाल उठाए. उन्होंने कहा, “हम सब आतंकवादियों के मारे जाने के पक्ष में हैं, लेकिन ये सवाल जरूरी है कि ये ऑपरेशन ठीक उसी वक्त क्यों हुआ जब संसद में चर्चा चल रही थी? क्या इसका मकसद राजनीतिक लाभ उठाना था?”
अखिलेश ने चीन को बताया राक्षस
चीन को लेकर भी अखिलेश ने सरकार पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि “अगर पाकिस्तान खतरा है तो चीन राक्षस है, जो हमारी जमीन और बाजार दोनों छीन रहा है। जब चीन सीमा पर आक्रामक रवैया अपनाता है, तब सरकार के बयान भ्रमित करने वाले होते हैं। क्या सच में हम सीमा पर चीन से बेहतर इन्फ्रास्ट्रक्चर बना रहे हैं?”
अखिलेश ने रक्षा बजट बढ़ाने की वकालत की
रक्षा बजट पर जोर देते हुए अखिलेश ने कहा कि भारत को अपनी सेना को और अधिक सशक्त करने की जरूरत है. उन्होंने मांग की कि “देश की जीडीपी का कम से कम तीन प्रतिशत रक्षा क्षेत्र को दिया जाना चाहिए. रिसर्च और तकनीकी विकास में हमें आत्मनिर्भर बनना होगा. विदेशी निवेश और रक्षा एक्सपो की बातें तो होती हैं, लेकिन जमीनी हकीकत क्या है?
अखिलेश यादव के इन बयानों से लोकसभा में बहस तेज हो गई और सत्ता पक्ष ने विरोध दर्ज कराया, लेकिन सपा अध्यक्ष ने दो टूक कहा कि “राष्ट्रवाद दिखावे से नहीं, तैयारी और पारदर्शिता से आता है.”
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