रिश्ते में बातचीत प्यार और लगाव की नींव होती है. यह एक डोर होती है जो दो दिलों को आपस में जोड़ती है और जोड़े रखना का काम करती है. इसलिए बात करना जरूरी है. लेकिन सवाल ये उठता है कि क्या रिश्ते में रोज बात करना जरूरी है? इसका जवाब है- जरूरी नहीं, लेकिन फायदेमंद जरूर है.
आज की भागदौड़ वाली जिंदगी में हर किसी के पास समय की कमी होती है. ऐसे में रोज लंबी बातचीत कर पाना मुश्किल हो सकता है. लेकिन इसका मतलब ये नहीं कि रिश्ते में बातचीत ही न हो.
पार्टनर के बीच बात होना क्यों जरूरी?
हर रोज घंटों फोन पर बात करने से ज्यादा जरूरी है कि आप बात क्या और किस तरह से कर रहे हैं. यदि आप अपने पार्टनर से जिंदगी में क्या चल रहा है, कैसा महसूस कर रहे हैं, इन बातों को शेयर कर पा रहे हैं तो इससे आपका रिश्ता मजबूत होगा. लेकिन यदि आप सिर्फ झगड़ा करते हैं तो रोज बात करने का कोई मतलब नहीं है.
हर कपल के लिए अलग है बात करने की जरूरत
हर किसी की अपनी पर्सनालिटी और कम्युनिकेशन स्टाइल होती है. कुछ कपल्स को रोजाना छोटी-छोटी बातें शेयर करना पसंद होता है, वहीं कुछ को हफ्ते में एक बार डीप बातचीत ज्यादा पसंद आती है. दोनों ही तरीके रिश्ते के लिए अच्छे हो सकते हैं, जरूरी है कि दोनों पार्टनर इसमें कंफर्टेबल हो.
इन बातों को याद रखना जरूरी
बात करना रिलेशनशिप के लिए जरूरी है लेकिन इतना ही काफी नहीं. ध्यान रखें कि आप बातचीत के दौरान एक-दूसरे कहीं और बिजी ना हो. जैसे- फोन पर बात करते समय टीवी न देखें या दूसरे काम में न करें. इसके अलावा किसी भी तरह की गलतफहमी होने पर बातचीत को टालें नहीं, बल्कि शांत दिमाग से उस पर बात करें.