Relationship Tips: रिश्ते में बातचीत सिर्फ बोलने का नहीं, समझने और जुड़ाव का माध्यम होता है. जब आप किसी से दिल से बातें करते हैं और सामने वाला बस "हूं-हम्म" (hmm-hmm) या "चलो छोड़ो" कहकर टाल दे, तो अंदर ही अंदर एक खामोशी पनपने लगती है. रिश्तों में ये खामोशी कई बार दूरी की वजह भी बन जाती है. ऐसे में जरूरी है समझना कि ये रिएक्शन सिर्फ लापरवाही है या इसके पीछे कोई वजह छिपी हुई है. आइए विस्तार से जानते हैं पार्टनर के इस बर्ताव के पीछे की संभावित वजहें और इसे संभालने के तरीके.
जब हम रिलेशनशिप में होते हैं तो कई बार ऐसी स्थिति आ जाती है जब फोन पर बात करते समय पार्टनर सिर्फ हूं, हम्म, (hmm-hmm) ओह जैसे रिप्लाई करता है. इससे ना सिर्फ बातचीत रुक जाती है बल्कि मन में ये ख्याल आने लगता है कि, क्या उन्हें अब बात करने में इंस्ट्रेस्ट नहीं रहा? असल में पार्टनर की यह आदत थकान, काम का प्रेशर या बिजी लाइफ का भी संकेत हो सकता है. लेकिन इसका मतलब यह नहीं होता है कि रिलेशनशिप कमजोर हो गया है. आप अपने पार्टनर से सही तरीकों से बातचीत करके वो प्यार और एक्साइटमेंट फिर से ला सकती हैं. अगर आपका पार्टनर भी बातचीत के दौरान सिर्फ हम्म और हूं जैसे रिप्लाई करता है तो बातचीत में इंस्ट्रेस्ट बढ़ाने के लिए आप दूसरे तरीके भी अपना सकते हैं. आइए जानते हैं उन तरीकों को.
पुराने पलों की दिलाएं याद
अपने पार्टनर से बातचीत को पहले जैसे करने के लिए जरूरी है कि आप पुराने पलों को री-कॉल करें. उन्हें अपनी पहली मुलाकात, पहला झगड़ा या साथ की कोई याद, उन्हें दोबारा याद दिलाएं. इससे आपके और पार्टनर के बीच इमोशनल बॉन्ड बढ़ेगा. पार्टनर भी उन पुरानी बातों को याद करके आपसे बातें करेगा और रिश्ता पहले जैसे फिर हो जाएगा.
ये तरीका भी है कारगर
रिलेशनशिप में बातचीत के दौरान कपल अपने साथी को इंगेज करने के लिए तरह तरह के सवाल पूछते हैं. अगर आप चाहें तो आप सवालों की जगह पर बातचीत को किस्सागोई बनाएं. सवाल-जवाब थोड़ा लोगों को परेशान कर सकता है. इसलिए इसके जगह पर अपने दिन का कोई मजेदार किस्सा बताएं. इससे पार्टनर सहज रूप से आपसे जुड़ सकेंगे.
पार्टनर को भी बात करने का दें मौका
बातचीत के दौरान अगर आपका भी पार्टनर सिर्फ हम्म-हम्म और चलो ठीक है, करता है तो साथी नाराजगी जताने लगता है और बातचीत के लिए दबाव महसूस करता है. हो सकता है कि आपका पार्टनर दिनभर की थकान में हों या मूड ऑफ हो. ऐसे में जबरदस्ती या बात करने के लिए प्रेशर न करें, बल्कि धीरे-धीरे बात खोलें.
वीडियो कॉल भी कर सकते हैं ट्राई
कई बार शब्दों से ज्यादा चेहरा और हाव-भाव से बातें पता चल जाती हैं. अगर आपका पार्टनर कम बोलने वाला हो या जो समझ नहीं पाता कि कब, क्या और कैसे बात करें तो ऑडियो कॉल के बजाए दूसरा तरीका आप ट्राई कर सकते हैं. अगर बात नहीं बन रही तो वीडियो कॉल भी आपके लिए बेस्ट ऑप्शन है.
गेम्स भी कर सकता है आपकी मदद
अगर पार्टनर से बातचीत ठीक से नहीं हो पा रही है तो उनके साथ आप कोई गेम खेलकर बातचीत को हल्का बना सकते हैं. इससे दोनों एक दूसरे के साथ इन्वॉल्व हो सकते हैं. अपने आप ही पार्टनर की गेम्स में रूचि बढ़ेगी और वह सवालों के जवाब के जरिए से आपसे बातचीत में शामिल हो पाएंगे.