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ऑफिस में बिजी हस्बैंड को बार-बार कॉल करती है वाइफ, उन्हें प्यार से कैसे समझाए पति?

ऑफिस में पति को कॉल करना आपके प्यार और कंसर्न को बयां करता है, लेकिन कई बार काम के प्रेशर के दौरान बार-बार रिंग और मैसेज आना फोकस को बिगाड़ सकता है.  

ऑफिस में बिजी हस्बैंड को बार-बार कॉल करती है वाइफ, उन्हें प्यार से कैसे समझाए पति?
Shariqul Hoda|Updated: May 29, 2025, 07:14 AM IST
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Husband Wife Relation: ऑफिस में कभी-कभार या रोजाना एक-दो बार वाइफ अपने हस्बैंड को कॉल करे तो इससे कोई परेशानी नहीं है, लेकिन दिक्कत तब होती है जब दफ्तर में जरूरी काम निपटाना हो और कई बार या लगतार घर से कॉल आने लगे. ऐसे में पति के लिए गुस्सा करना बात को बिगाड़ सकता है, इसलिए समझदारी से कोई कदम उठाना चाहिए

वाइफ क्यों करती है कॉल?
वाइफ का बार-बार कॉल करने के पीछे प्यार, फिक्र या जरूरत असल वजह हो है, लेकिन ये तरीका पति के काम और फोकस को अफेक्ट कर सकता है. हालांकि प्यार भरी बातचीत से इस हालात को संभाला जा सकता है, बशर्ते हस्बैंड कुछ ऐसा करे ताकि वाइफ भी इससे सहमत हो जाए.

वाइफ को प्यार से समझाने का तरीका
पति को अपनी पत्नी की भावनाओं को समझना चाहिए. बार-बार कॉल करने के पीछे इनसिक्योरिटी, अकेलापन, या कोई अनकही जरूरत हो सकती है. इसके लिए, पति को शांत और प्यार भरे तरीके से बात शुरू करनी चाहिए. मिसाल के तौर पर, वो कह सकता है, "मुझे तुम्हारा इतना ख्याल रखना बहुत अच्छा लगता है, लेकिन ऑफिस में कभी-कभी मीटिंग्स या काम में बिजी होने के कारण तुरंत जवाब देना मुश्किल हो जाता है." ये तरीका पत्नी को महसूस कराएगा कि उनके जज्बातों की कद्र की जा रही है.

किस वक्त कॉल करे?
पति को चाहिए कि वो अपनी डेली ऑफिस रूटीन के बारे में खुलकर बात करे. वो बता सकता है कि किन ऑवर्स में वह ज्यादा बिजी रहता है और कब कॉल करना ठीक रहेगा. साथ ही, वो यो भी सुझाव दे सकता है कि जरूरी बातों के लिए मैसेज या व्हाट्सएप का उपयोग करें, ताकि वो ब्रेक के दौरान जवाब दे सके. इससे वाइफ को ये समझ आएगी कि उनकी बात अहम है, लेकिन वक्त का ख्याल रखना जरूरी है.

टाइम फिक्स कर लें
प्यार से समझाने का एक और तरीका है टाइम मैनेजमेंट. पति अपनी पत्नी के साथ दिन में कुछ टाइम फिक्स कर सकता है, जैसे लंच ब्रेक में कॉल करना या शाम को घर लौटने के बाद क्वालिटी टाइम बिताना. इससे पत्नी को लगेगा कि उनकी जरूरतों का ध्यान रखा जा रहा है. साथ ही, हस्बैंड को वाइफ की फिक्र को सुनना चाहिए और अगर कोई खास वजह (जैसे अकेलापन या स्ट्रेस) हो, तो उसे सुलझाने की कोशिश करनी चाहिए.

इस बात का रखें ख्याल
बातचीत में हमेशा प्यार और सम्मान बनाए रखें. कड़े अल्फाज या झुंझलाहट से बात बिगड़ सकती है. इसके बजाय, "मैं तुमसे बहुत प्यार करता हूं और हमेशा तुम्हारे लिए हूं" जैसे अल्फाज वाइफ को कॉन्फिडेंट करेंगे. इस तरह, प्यार और समझदारी से दोनों के बीच बैलेंस बना रहेगा.

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