Science News: ब्रह्मांड के सबसे बड़े रहस्यों में से एक है: डार्क मैटर. यह ब्रह्मांड के कुल द्रव्यमान का अधिकांश हिस्सा बनाता है, लेकिन इसे कभी प्रत्यक्ष रूप से नहीं देखा गया है. डार्क मैटर की प्रकृति और गुणधर्म आज भी वैज्ञानिकों के लिए एक पहेली बने हुए हैं. एक नई स्टडी में, डार्क मैटर के वजन (mass) को लेकर बड़ा दावा किया गया है. रिसर्चर्स का कहना है कि अगर डार्क मैटर बहुत भारी होगा, तो यह हमारे ब्रह्मांड के सबसे सटीक मॉडल (Standard Model of particle physics) को तोड़ सकता है.
डार्क मैटर क्या है?
वैज्ञानिकों ने लंबे समय से देखा है कि ब्रह्मांड में सितारे, आकाशगंगाएं और उनके समूह जितनी तेजी से घूमते हैं, उसके लिए जरूरी गुरुत्वाकर्षण केवल देखे गए पदार्थ से नहीं आ हो सकता. यह संकेत देता है कि कुछ 'अदृश्य' पदार्थ है, जो इस गुरुत्वाकर्षण का कारण हो सकता है. वैज्ञानिक इसे 'डार्क मैटर' कहते हैं.
डार्क मैटर को एक हाइपोथेटिकल पदार्थ माना जाता है जो प्रकाश के साथ कोई प्रतिक्रिया नहीं करता, इसलिए इसे सीधे देखा नहीं जा सकता. यह इलेक्ट्रिकली न्यूट्रल होता है और सामान्य पदार्थ से बहुत कम बातचीत करता है. हालांकि, इसके गुरुत्वाकर्षण प्रभाव (gravitational effects) के कारण हम इसके अस्तित्व के बारे में जानते हैं.
डार्क मैटर का वजन कितना हो सकता है?
अभी तक, डार्क मैटर को समझने के लिए वैज्ञानिकों ने जो प्रयोग किए हैं, वे 10 से 1,000 गीगा-इलेक्ट्रॉन वोल्ट (GeV) के द्रव्यमान पर केंद्रित हैं. यह द्रव्यमान सीमा W बोसॉन (W boson) और टॉप क्वार्क (top quark) जैसे सबसे भारी ज्ञात कणों के करीब है. दशकों तक यह धारणा रही कि डार्क मैटर इस दायरे में होगा, क्योंकि कई सरल मॉडल इसी पर संकेत देते हैं.
हालांकि, अब तक किसी भी प्रयोग में डार्क मैटर का पता नहीं चल पाया है. इस वजह से, अब वैज्ञानिक मान रहे हैं कि डार्क मैटर हल्का या भारी हो सकता है. लेकिन हाल ही में arXiv (प्रीप्रिंट सर्वर) पर छपी नई रिसर्च बताती है कि भारी डार्क मैटर के साथ कुछ गंभीर समस्याएं हो सकती हैं.
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डार्क मैटर 'भारी' हुआ तो...
ब्रह्मांड के शुरुआती दिनों में, जब तापमान और घनत्व अधिक था, डार्क मैटर और सामान्य पदार्थ के बीच बातचीत ज्यादा होती थी. जैसे-जैसे ब्रह्मांड का विस्तार और ठंडा होना शुरू हुआ, यह बातचीत धीमी हो गई और आखिरकार 'फ्रीज आउट' हो गई. डार्क मैटर के कई मॉडल बताते हैं कि यह 'हिग्स बोसॉन' के माध्यम से सामान्य पदार्थ से बातचीत कर सकता है.
'हिग्स बोसॉन' एक मौलिक कण है जो लगभग 125 GeV का द्रव्यमान रखता है और अन्य कणों को द्रव्यमान प्रदान करता है. रिसर्च के मुताबिक, अगर डार्क मैटर बहुत भारी होगा तो यह हिग्स बोसॉन (Higgs boson) के द्रव्यमान को प्रभावित कर सकता है.
रिसर्चर्स ने पाया कि अगर डार्क मैटर का द्रव्यमान कुछ हज़ार GeV से अधिक होगा, तो यह हिग्स बोसॉन के द्रव्यमान में इतना बड़ा बदलाव कर देगा कि यह अपने मापे गए मूल्य से दूर हो जाएगा. यह समस्या इसलिए गंभीर है क्योंकि हिग्स बोसॉन, पार्टिकल फिजिक्स में बहुत अहमियत रखता है.
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हिग्स बोसॉन और डार्क मैटर का कनेक्शन
कई मॉडल्स में, हिग्स बोसॉन डार्क मैटर और सामान्य पदार्थ के बीच मध्यस्थ (mediator) का काम करता है. हालांकि, यह संवाद दो-तरफा होता है. जिस तरह हिग्स बोसॉन डार्क मैटर को प्रभावित करता है, उसी तरह डार्क मैटर भी हिग्स बोसॉन को प्रभावित कर सकता है. अगर डार्क मैटर बहुत भारी होगा, तो यह हिग्स बोसॉन के द्रव्यमान में इतना बड़ा बदलाव कर देगा कि यह हमारे मॉडल के अनुरूप नहीं रह जाएगा.
अब क्या है रास्ता?
इतनी रिसर्च के बाद एक सवाल उठता है, अगर डार्क मैटर बहुत भारी नहीं हो सकता तो क्या यह हल्का हो सकता है? रिसर्चर्स का मानना है कि हां, डार्क मैटर हल्का भी हो सकता है. उन्होंने एक संभावित उम्मीदवार भी दिया है: एक्सियन (axion), जो एक बहुत-हल्का कण (ultralight particle) है. कुछ पार्टिकल फिजिक्स मॉडल्स में एक्सियन्स के अस्तित्व की भविष्यवाणी की गई है, और ये डार्क मैटर के लिए एक संभावित उम्मीदवार हो सकते हैं.
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हो सकता है कि डार्क मैटर, सामान्य पदार्थ के साथ बिल्कुल भी संवाद न करे, या फिर यह संवाद किसी ऐसे मैकेनिज्म के जरिए हो जो हिग्स बोसॉन को शामिल न करता हो. हालांकि, ऐसे मॉडल्स दुर्लभ हैं और इन्हें सिद्ध करने के लिए और रिसर्च की जरूरत पड़ेगी.