अगर आप स्मार्टफोन, लैपटॉप, जीमेल या सोशल मीडिया का इस्तेमाल करते हैं, तो आपके लिए ये खबर बेहद जरूरी है. हाल ही में एक बड़ा डेटा लीक सामने आया है जिसमें दुनियाभर के 1600 करोड़ से ज्यादा यूजर्स के ईमेल आईडी और पासवर्ड लीक हो चुके हैं. साइबर सुरक्षा विशेषज्ञों के मुताबिक, यह अब तक की सबसे बड़ी डेटा ब्रीच में से एक हो सकती है. इस लीक का सीधा असर Google, Facebook, Apple, Telegram जैसे बड़े प्लेटफॉर्म्स पर पड़ा है.
बिना सुरक्षा वाले सर्वर पर मिला डेटा
लीक हुआ डेटा एक ऐसे सर्वर पर पाया गया है जो बिना किसी सुरक्षा के इंटरनेट पर मौजूद था. यानी कोई भी आसानी से इसमें पहुंच सकता था. एक्सपर्ट्स का कहना है कि इस ब्रीच से न सिर्फ आम यूजर्स की निजी जानकारी खतरे में है, बल्कि सरकारी वेबसाइट्स, बिजनेस ईमेल, VPN और सोशल मीडिया अकाउंट्स की सिक्योरिटी भी खतरे में पड़ सकती है.
पुराने और नए पासवर्ड दोनों लीक
रिपोर्ट्स के अनुसार इस ब्रीच में पुराने और नए दोनों तरह के पासवर्ड शामिल हैं. इससे खतरा और बढ़ जाता है क्योंकि हो सकता है कि आपने हाल ही में पासवर्ड बदला हो, फिर भी वह लीक हो गया हो. रिसर्चर्स ने 30 से ज्यादा डेटा बेस की जांच की है, जिनमें करीब 350 करोड़ से ज्यादा रिकॉर्ड्स पाए गए हैं. यह ब्रीच साल 2025 की शुरुआत से अब तक का बताया जा रहा है.
Google की सलाह – अभी पासवर्ड बदलें
Google ने इस ब्रीच को गंभीर मानते हुए यूजर्स के लिए एक चेतावनी जारी की है. इसमें कहा गया है:
• तुरंत अपने पासवर्ड बदलें, खासकर ईमेल और बैंकिंग अकाउंट्स के.
• मजबूत पासवर्ड चुनें, जिसमें कैपिटल लेटर, नंबर और स्पेशल कैरेक्टर्स हों.
• टू-फैक्टर ऑथेंटिकेशन (2FA) ऑन करें जिससे सुरक्षा की एक और लेयर जुड़ जाए.
• Passkey फीचर को एक्टिवेट करें, जो फिशिंग और पासवर्ड अटैक से बचाता है.
• किसी भी अनजान लिंक पर क्लिक न करें और न ही किसी अनजान ईमेल या मैसेज में निजी जानकारी दें.
सभी पॉपुलर प्लेटफॉर्म्स पर खतरा
ये डेटा लीक सिर्फ किसी एक सर्विस तक सीमित नहीं है. अगर आप Google, Apple, Facebook, Telegram या किसी भी पॉपुलर सर्विस का इस्तेमाल करते हैं, तो आप भी खतरे में हैं. कई लोग सभी अकाउंट्स के लिए एक ही पासवर्ड इस्तेमाल करते हैं, जिससे एक पासवर्ड लीक होते ही आपके कई अकाउंट्स एक्सपोज हो सकते हैं.
आज ही करें ये जरूरी काम
अगर आपने लंबे समय से पासवर्ड नहीं बदला है, तो आज ही उसे बदलें. ट्रस्टेड पासवर्ड मैनेजर का इस्तेमाल करें, अपने अकाउंट्स की रेगुलर निगरानी रखें और फिशिंग या साइबर फ्रॉड से जुड़ी जानकारी अपडेट करते रहें. ये कदम आपको बड़े नुकसान से बचा सकते हैं.