Greta Thunberg News: स्वीडिश क्लाइमेट एक्टिविस्ट ग्रेटा थनबर्ग को इजरायल ने हिरासत में लेने के कुछ घंटे बाद रिहा कर दिया. इजरायली विदेश मंत्रालय ने ग्रेटा की दो तस्वीरें सोशल मीडिया पर पोस्ट करते हुए बताया कि थनबर्ग को फ्रांस रवाना कर दिया गया है. एक दिन पहले ही ग्रेटा को गाजा में रहने वालों के खाने-पीने का सामान लेकर जा रहे जहाज में सवार होने पर इजरायली फोर्स ने हिरासत में ले लिया था. उनके साथ 11 और मानवाधिकार कार्यकर्ता भी थे. इजराइल ने अपनी संप्रभुता का हवाला देते हुए जहाज में सवार लोगों को हिरासत में लिया था.
फ्रांस पहुंचने पर मीडिया से बातचीत में ग्रेटा ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय जल क्षेत्र में उन पर हमला हुआ है. इजराइल ने उन्हें किडनैप कर लिया था. इससे पहले इजरायल के विदेश मंत्रालय ने बताया कि 22 वर्षीय ग्रेटा थनबर्ग को स्वीडन (फ्रांस के रास्ते) के लिए इजरायल से रवाना कर दिया गया है. थनबर्ग और दूसरे कार्यकर्ताओं को बेन गुरियन हवाई अड्डे से उन्हें रवाना किया गया. जो तस्वीरें जारी की गई हैं, उनमें ग्रेटा विमान के पिछले हिस्से में बैठी हुई दिख रही हैं. उनकी सीट एक पटरे जैसी थी जिसमें पुश बैक यानी पीछे की ओर झुकने की सुविधा नहीं थी.
Greta Thunberg claims she was “illegally attacked” and “kidnapped by Israel” after IDF soldiers greeted her with a SANDWICH and put her on a flight to France.
“We were illegally attacked and kidnapped by Israel and taken against our will to Israel where we were detained.” pic.twitter.com/rus28pNDGi
— Oli London (@OliLondonTV) June 10, 2025
इजरायल के आंतरिक मंत्री मोशे अर्बेल ने बताया कि कई कार्यकर्ताओं को निर्वासन के लिए हवाई अड्डे पर ले जाया गया. वहां से फ्लोटिला में शामिल सभी 12 लोगों को उनके मूल देशों में वापस भेज देने के लिए कहा गया है.
अर्बेल ने सख्त लहजे में कहा कि इजराइल अपनी सीमाओं पर विरोध प्रदर्शनों के जरिए अपनी संप्रभुता को नुकसान पहुंचाने की अनुमति किसी को नहीं देगा.
विदेश मंत्रालय ने कहा कि जो कार्यकर्ता स्वेच्छा से इजराइल छोड़ने के लिए सहमत होने वाले दस्तावेजों पर हस्ताक्षर करने के लिए राजी हुए हैं, उनसे मंगलवार को विमान से देश छोड़ने की उम्मीद है. जो लोग ऐसा नहीं करेंगे, उनके लिए दूसरे कानूनी विकल्पों पर अमल किया जाएगा.
Greta Thunberg just departed Israel on a flight to Sweden (via France). pic.twitter.com/kWrI9KVoqX
— Israel Foreign Ministry (@IsraelMFA) June 10, 2025
इजराइल स्थित कानूनी अधिकार समूह अदालाह ने कहा कि चार कार्यकर्ता तुरंत अपने देश जाने के लिए सहमत हो गए, जबकि बाकी आठ अपने निर्वासन आदेश का विरोध कर रहे हैं. उन्हें अदालत की सुनवाई तक हिरासत में रखा जाएगा. सुनवाई का समय अभी तय नहीं था.
अदालाह ने बताया कि सोमवार को तड़के इजरायली सेना ने 'मैडलीन' नाव को जब्त करने के बाद उसमें सवार लोगों को घंटों समुद्र में रोके रखा और रात होने पर उन्हें अशदोद बंदरगाह पर लाया गया. इजराइल के इस कदम को फ्रीडम फ्लोटिला गठबंधन ने अवैध बताया और इसे अपहरण करार दिया. दाव किया गया है कि इस जहाज पर गाजा के लिए भोजन और दवा सहित दूसरे जरूरी सामान लदे थे.
न्यूज एजेंसी सिन्हुआ के अनुसार माल्टा के पास अंतर्राष्ट्रीय जलक्षेत्र में कथित ड्रोन हमले में एक अन्य जहाज, कॉन्साइंस के क्षतिग्रस्त होने के लगभग एक महीने बाद हुई है. गौरतलब है कि 2007 में हमास द्वारा गाजा पर नियंत्रण करने के बाद इजरायल ने गाजा पर नौसैनिक नाकाबंदी लगा दी थी. अक्टूबर 2023 में हमास के सीमा पार हमले के बाद प्रतिबंधों को और कड़ा कर दिया गया.
हमले के बाद इजराइल लगातार गाजा पर कहर बनकर टूट रहा है. वहां अब तक हमले में हजारों लोगों की मौत हो चुकी है. गाजा में बुनियादी ढांचे पूरी तरह तहस-नहस हो चुके हैं. दावा किया गया है कि लगभग 20 लाख से अधिक लोगों का जीवन इस हमले के कारण संकट में है.