World War III: दुनिया में एक और जगह तीसरे विश्व युद्ध की आहट है. CCN की रिपोर्ट कहती है कि इजरायल जल्द ही ईरान के परमाणु ठिकानों पर हमला कर सकता है. फिर रूस और अमेरिका जैसे बड़े देश इस जंग में कूद सकते हैं. दरअसल, भारत-पाकिस्तान के बीच सैन्य संघर्ष अभी रुक गया है और रूस-यूक्रेन युद्ध में संघर्षविराम के लिए बातचीत चल रही है, इस बीच ईरान-इजरायल के बीच तनातनी बढ़ गई है.
अमेरिकी खुफिया विभाग ने ईरान-इजरायल युद्ध की आशंका जताई है. वहीं अमेरिका से परमाणु डील को लेकर वार्ता कर रहे ईरान ने आगाह किया है कि अगर इजरायल ने ये दुस्साहस किया तो खतरनाक परिणाम होंगे. इजरायल का लक्ष्य है कि खाड़ी देशों में कोई भी मुल्क परमाणु शक्ति से संपन्न न होने पाए. ईरान पर पाकिस्तान से चोरी छिपे परमाणु हथियारों की तकनीक लेने का आरोप है. अमेरिका और पश्चिमी देश उसे परमाणु कार्यक्रम छोड़ने का लगातार दबाव डाल रहे हैं, लेकिन ईरान पीछे हटने को तैयार नहीं है.
खाड़ी देशों में न हो परमाणु शक्ति
इजरायल लंबे समय से इस नीति पर काम कर रहा है कि मध्य पूर्व में कोई भी देश परमाणु हथियार हासिल नहीं कर पाए. उसने इराक में 1981 और सीरिया में 2007 में हवाई हमले किए थे और परमाणु रिएक्टरों को तबाह कर दिया था. ईरान में कई परमाणु वैज्ञानकों की रहस्यमयी हत्या और उसके नाभिकीय संयंत्र में साइबर अटैक के पीछे इजरायल का हाथ माना जाता है.
अभी लंबा चलेगा दौर
ईरान के विदेश मंत्री सैयद अब्बास अराघची ने कहा है कि अमेरिका और उनके देश के बीच परमाणु वार्ता सही दिशा में पेशेवर तरीके से आगे बढ़ी है. अमेरिकी अफसर अब ईरान के पक्ष को अच्छे से समझ रहे हैं. लेकिन ये बातचीत अगले 2-3 दौर में पूरी नहीं होगी. अमेरिकी अफसरों ने ईरान से कहा है कि वो यूरेनियम संवर्धन पूरी तरह बंद कर दे. वहीं ईरान का कहना है कि वो शांतिपूर्ण तरीके से परमाणु ऊर्जा का उत्पादन करना चाहता है, परमाणु बम बनाने का उसका कोई इरादा नहीं है.