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3 लाशें के लिए 6 कब्रें क्यों? पाकिस्तान में नापाक काम क्यों कर रही सेना और पुलिस?

Pakistan News: पाकिस्तान के बलूचिस्तान में एक हैरान कर देने वाली घटना सामने आई है. यहां 3 लोगों को शस्त्र बलों ने मार गिराया था और अब 3 लाशों की कब्रें बनी हैं, चलिए जानते हैं कि आखिर ऐसा क्या हुआ होगा कि तीन लोगों की 6 कब्रें बनीं.

प्रतीकात्मक तस्वीर
प्रतीकात्मक तस्वीर
Tahir Kamran|Updated: Jun 05, 2025, 07:14 PM IST
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Pakistan: यह बात तो सभी जानते हैं कि एक कब्र में एक ही मुर्दे को दफनाया जाता है, हालांकि कई बार देखा जाता है कि जब किसी हादसे में कुछ ज्यादा ही लोगों की मौत हो जाती है तो एक लंबी सी कब्र खोदकर उसमें लाइन से बहुत सारी लाशों को दफना दिया जाता है लेकिन क्या कभी आपने सुना है कि एक लाश को दो कब्रों में दफनाया गया है? शायद कभी नहीं सुना होगा लेकिन आज हम आपको एक ऐसी की खबर के बारे में बताने जा रहे हैं, जहां 3 लाशों की 6 कब्रें बनी हैं.

यह खबर है पाकिस्तान के बलूचिस्तान की, यहां पर पाकिस्तान सरकार और बलूचिस्तान में अलगाववादी ग्रुपों के बीच चल रहे संघर्ष के बीच एक अजीब मामला सामने आया है. हाल ही में राज्य के शस्त्र बलों ने 3 लोगों अलगाववादी लड़ाकों को मार गिराया गया था. जानकारी के मुताबिक इन तीनों को 29 अप्रैल को केच जिले के हेडक्वॉर्टर तुरबत शहर के पास सुरक्षा बलों ने एक झड़प में मार गिराया था. अब इन तीन लोगों की 6 कब्रें बनी हैं और 6 कब्रें बनने के पीछे एक और विवाद है.

परिवार ने क्या कहा?

मारे गए तीनों में से एक की बहन ने बीबीसी उर्दू के साथ बात करते हुए बताया कि पुलिस ने उन्हें लाश हमारे हवाले करने से इनकार कर दिया था. जबकि जिला प्रशासन ने पहले यकीन दिलाया था कि लाशें परिवार के हवाले कर दी जाएंगी लेकिन ऐसा नहीं किया. यहां तक कि मरने वालों के घर वालों ने अदालत का भी दरवाजा खटखटाया लेकिन उन्हें लाशें नहीं मिलीं.

परिवार ने बनाईं प्रतीकात्मक कब्रें

महिला का कहना था कि हमने प्रशासन को यह भी यकीन दिलाया कि वो शवों को सीधे दफना देंगे, उन्हें लेकर कोई प्रदर्शन वगैरह नहीं करेंगे, लेकिन उन्होंने लाश हमारे हवाले नहीं. महिला ने कहा कि जब हमें उम्मीद ही खत्म हो गई तो हमने उनकी प्रतीकात्मक कब्रें बना लीं और इन कब्रों में हमने उनका सामान उसमें दफना दिया. इसके अलावा परिवार को पता चला कि प्रशासन ने भी उन्हें 17 मई को तुर्बत शहर के कब्रिस्तान में दफनाया दिया.

कब्र से लाशें निकाले गए परिवार के लोग

महिला ने बताया कि हम अगले अगले दिन यानी 18 मई को उन कब्रों से लाशों को निकालने गए लेकिन हमें ऐसा करने की अनुमति भी नहीं दी. हालांकि फजीला बलूच का दावा है कि अगर सरकार ने उन्हें वहां भी ठीक से दफनाया होता तो हमें कोई दिक्कत नहीं होती लेकिन ऐसा नहीं किया गया. सोशल मीडिया पर इसको लेकर खूब चर्चा हो रही है और प्रशासन द्वारा लाशें ना सौंपने का फैसले की भी निंदा की जा रही है.

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