trendingNow12357789
Hindi News >>दुनिया
Advertisement

UK: नफरत फैलाने के आरोपों में घिरे मौलवी की ब्रिटिश आइलैंड खरीदने की तैयारी, बनाना चाहता है अपना देश

UK NEWS: मौलवी पहले से ही मिलिट्री स्टाइल ट्रेनिंग कैंप चलाता है. वह उम्मीद कर रहा है कि उसका संगठन द्वीप पर अपना स्कूल, अस्पताल और मस्जिद बना सकता है, जहां वह शरिया कानून लागू कर सके.

UK: नफरत फैलाने के आरोपों में घिरे मौलवी की ब्रिटिश आइलैंड खरीदने की तैयारी, बनाना चाहता है अपना देश
Zee News Desk|Updated: Jul 29, 2024, 08:51 AM IST
Share

Sheikh Yasser al-Habib: नफरत फैलाने के आरोप में घिरे एक मौलवी ने एक छोटे से ब्रिटिश द्वीप को खरीदने और उसे अपना इस्लामिक राज्य बनाने की योजना बनाई है. इसके लिए उसने 3 मिलियन पाउंड (32,35,01,500.50 INR) से अधिक की राशि जुटाई है. डेली मेल की रिपोर्ट के मुताबिक शेख यासर अल-हबीब और उनके अनुयायी स्कॉटलैंड के पश्चिमी तट से दूर स्थित टोरसा के सुदूर द्वीप को खरीदने के लिए बातचीत कर रहे हैं. मौलवी (45) ने 20 साल पहले अपने देश कुवैत से भागने के बाद ब्रिटेन में शरण मांगी थी.

रिपोर्ट के मुताबिक हबीब पहले से ही मिलिट्री स्टाइल ट्रेनिंग कैंप चलाता है. वह उम्मीद कर रहा है कि उसका संगठन द्वीप पर अपना स्कूल, अस्पताल और मस्जिद बना सकता है, जहां वह शरिया कानून लागू कर सके. मौलवी की इस अपील पर पड़ोसी द्वीप लुइंग के निवासियों ने चिंता व्यक्त की है.

मौलवी ने जारी किया वीडियो
मौलवी ने एक वीडियो जारी करते हुए अपने समर्थकों से 3.5 मिलियन पाउंड (37,74,82,700.00 INR) का टारगेट हासिल करने के लिए बढ़चढ़ कर दान देने की अपील की है. वीडियो में, वह कहते हैं कि वह सरकार के साथ बातचीत करेंगे ताकि 'पूरी दुनिया से' मुसलमानों को उनके नए 'देश' में रहने के लिए वीजा दिया जा सके.

अल-हबीब पर ब्रिटेन और अरब दुनिया में शिया और सुन्नी मुसलमानों के बीच सांप्रदायिक नफरत भड़काने का आरोप है. उसका 'ग्लोबल हेडक्वार्टर' दक्षिण बकिंघमशायर के खूबसूरत गांव फुलमर में है. वह अपने विवादास्पद सैटेलाइट चैनल फडक टीवी के माध्यम से धन जुटा रहा है, जिसे वह कई वर्षों से 2 मिलियन पाउंड (21,57,04,400.00 INR) की लागत से बने चर्च हॉल से चला रहा है.

सुन्नी लोगों के प्रति नफरत फैलाने का आरोप
रेगुलेटर ऑफकॉम की ओर से बार-बार चेतावनी दिए जाने के बावजूद, अल-हबीब को अपने व्याख्यान प्रसारित करने की अनुमति दी गई है. उस पर आरोप है कि देश और विदेश में कथित तौर पर सुन्नी लोगों के प्रति नफरत फैला रहा है.

केवल अरबी में उपदेश देने वाले मौलवी ने ब्रिटेन के 400,000 शियाओं और दुनिया भर में लाखों लोगों के बीच एक बड़ी संख्या में अनुयायी जुटाए हैं. अल-हबीब, सुन्नी धर्म का अपमान करने के लिए कुवैत में लगभग तीन महीने जेल में बिता चुका है. अब उनकी नजर अर्गिल में निर्जन द्वीप टोरसा पर है, जहाँ वह महदी [मसीहा] सर्वेंट्स यूनियन (MSU) नामक अपने ग्रुप के लिए एक नई 'मातृभूमि' स्थापित करना चाहते हैं.

 

टोरसा सिर्फ़ एक मील से ज़्यादा लंबा है और इसमें एक फ़ार्महाउस है. यहां केवल लुइंग से निजी नाव द्वारा पहुंचा जा सकता है. लुइंग भी सील द्वीप से एक नाव के जरिए ही पहुंचा जा सकता है, जो एक पुल के माध्यम से मुख्य भूमि से जुड़ता है.

रिपोर्ट के मुताबिक सूत्रों ने ग्रुप के दो प्रतिनिधियों ने द्वीप का दौरा किया है और इसका वीडियो भी बनाया है, मौलवी ने फडक टीवी पर कहा है कि टोरसा, जो दो छोटे-छोटे द्वीपों से घिरा हुआ है, एक 'अपूरणीय अवसर' है.

मौलवी ने वीडियो में क्या कहा?
अल हबीब ने समर्थकों को दान देने के लिए प्रोत्साहित करते हुए कहा कि तोरसा एक इस्लामी 'मातृभूमि' बन जाएगी, जिसे वे अपने मसीहा, (जिसे महदी के नाम से जाना जाता है), के आने की तैयारी के लिए बनाएंगे.

तीन मिनट के एक वीडियो में, अल-हबीब ने कहा, 'यदि आप इमाम [शिया नेता] के बैनर तले स्वतंत्र रूप से रहना चाहते हैं, एक विशेष मातृभूमि में जहां आपको लगे कि वहां की हर चीज़ आपको आने वाले महदी की याद दिलाती है, तो इस परियोजना का समर्थन करें.'

उसी वीडियो में, तोरसा से फ़िल्म बना रहे एक अन्य व्यक्ति कहते हैं, 'यहाँ, मेरे भाइयों, ईश्वर की इच्छा से, हम एक बड़ी मस्जिद, एक स्कूल और एक हौज़ा [शिया मदरसा] बनाना चाहते हैं. हम चाहते हैं कि यह स्थान शियाओं और विश्वासियों के लिए मातृभूमि बने.' फ़ुटेज में अल-हबीब की 'सेना', जिसे अल-शूरता अल-खामिस कहा जाता है, की तस्वीरें दिखाई जाती हैं, जो फ़ुलमर में अपनी मस्जिद के मैदान में प्रशिक्षण और अभ्यास कर रही है.

मौलना के खिलाफ कार्रवाई की मांग
2004 में ब्रिटेन आने के बाद से अल-हबीब बार-बार अधिकारियों के ध्यान में आया है, और सांसदों ने बिना सफलता के उसके टीवी चैनल को बंद करने की कोशिश की है.

रिपोर्ट के मुताबिक बर्मिंघम पेरी बार के पूर्व लेबर सांसद खालिद महमूद ने कहा: 'इस आदमी ने फाडक टीवी के साथ सुन्नी धर्म के लोगों पर लगातार निशाना साधा है, जिसकी अनुमति नहीं दी जानी चाहिए.

अगर कोई धुर दक्षिणपंथी ग्रुप ऐसा करता है, तो उसके खिलाफ़ कार्रवाई होगी, और इसलिए ऑफ़कॉम को उसके खिलाफ़ कार्रवाई करनी चाहिए. यह अब और भी बेतुका है कि उसके परिसर में अर्धसैनिक गतिविधियां हो रही हैं. मैं चाहता हूं कि उसका चैनल बंद हो जाए.'

Read More
{}{}