Hong Kong News: हांगकांग की विधायिका ने मंगलवार को एक नया राष्ट्रीय सुरक्षा कानून पारित किया. यह सरकार को असहमति खत्म करने की अधिक ताकत देता है. इसे आर्टिकल 23 के नाम से भी जाना जाता है. इस कानून को 2019 में लोकतंत्र समर्थक विरोध प्रदर्शनों के बाद हुई व्यापक राजनीतिक कार्रवाई के नए कदम के रूप में देखा जा रहा है.
विधायिका ने मंगलवार को एक स्पेशल सेशन के दौरान राष्ट्रीय सुरक्षा सुरक्षा कानून पारित किया. यह चार साल पहले चीन में लागू एक ऐसे ही कानून से भी सख्त है. आलोचकों ने चिंता जताई है कि नया कानून नागरिक स्वतंत्रता को और कमजोर कर देगा.
विधान परिषद में चीनी समर्थकों का दबदबा
हांगकांग की विधान परिषद में चुनावी बदलाव के बाद चीन के प्रति निष्ठा रखने वालों का दबदबा है. विधायी परिषद ने विरोधी आवाज को दबाने वाले काननू को लागू करने की प्रक्रिया तेज कर दी है.
आठ मार्च को विधेयक पेश किया गया था. हांगकांग के नेता जॉन ली द्वारा कानून को ‘पूरी गति से’ से आगे ले जाने की अपील के बाद एक समिति ने एक हफ्ते तक रोज बैठकें कीं.
क्या है आर्टिकल 23?
कानून में ऐसी कई कार्रवाईयों के लिए सख्त सजा का प्रावधान है जिन्हें अधिकारी राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा मानते हैं.
नया कानून शासन के लिए भविष्य की चुनौतियों को दूर करने के लिए सरकार की शक्ति का विस्तार करता है. देशद्रोह और विद्रोह के लिए आजीवन कारावास तक की सजा देने की वकालत करता है.
कानून में अन्य अपराधों के लिए कड़ी जेल की सजा भी शामिल है, जिसमें जासूसी के लिए 20 साल तक और राज्य के सीक्रेट्स के गैरकानूनी रूसी से सामने के लिए 10 साल तक की सजा शामिल है.
नए कानून के कुछ प्रावधान दुनिया में कहीं भी किए गए कुछ कृत्यों के लिए आपराधिक मुकदमा चलाने की अनुमति देते हैं.
कानून के मुताबिक, विदेशी सरकारों या संगठनों के साथ मिलकर अपराध करने के दोषी लोगों पर कठोर दंड लगाया जाएगा. उदाहरण के लिए, राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरे में डालने के इरादे से सार्वजनिक बुनियादी ढांचे को नुकसान पहुंचाने वाले दोषियों 20 साल की जेल या उम्रकैद हो सकती है, अगर वे ऐसा करने के लिए किसी बाहरी ताकत के साथ मिलीभगत करते हैं.
(एजेंसी इनपुट के साथ)