51 Feet Tall Ram Statue in Canada: भारत में पिछले साल अयोध्या में भव्य राम मंदिर की स्थापना के बाद अब हिंदुस्तान से करीब 11 हजार किलोमीटर दूर एक ईसाई मुल्क में भी राम आए हैं. कनाडा में भगवान श्रीराम की 51 फुट ऊंची प्रतिमा लगाई गई है, जिससे वहां रहने वाले सनातन धर्मी गदगद हैं. वहीं पाकिस्तान के 25 करोड़ कठमुल्लों के सीने पर सांप लौटने लगा. सनातन के भव्य-दिव्य और अद्भुत स्वरूप को देख कर पाकिस्तानी मुसलमान छाती पीटते हुए कट्टर इस्लाम के अतीत को याद कर रहे हैं.
कनाडा में कहां लगी प्रभु श्रीराम की प्रतिमा?
कनाडा के मिसीसॉगा शहर में हजारों सनातनी श्रद्धालुओं की मौजूदगी में प्रभू श्रीराम की भव्य प्रतिमा का अनावरण हुआ. इसके साथ ही भगवान राम की 51 फीट ऊंची ये मूर्ति न सिर्फ कनाडा बल्कि उत्तरी अमेरिकी की सबसे ऊंची प्रतिमा भी बन गई. इस प्रतिमा को ओंटारियो के हिंदू हेरीटेज सेंटर में स्थापित किया गया है. इसी के साथ ही भगवान राम की यह दिव्य प्रतिमा उत्तरी अमेरिका में धार्मिक और सांस्कृतिक पहचान का नई प्रतीक भी बन गई है.
कनाडा में हिंदुओं की कुल आबादी कितनी है?
दिलचस्प बात ये है कि भगवान राम की मूर्ति का अनावरण ईसाई बहुल कनाडा में हुआ, जहां पर हिंदू भी करीब 8 लाख हैं. मगर एक मिशनरी मुल्क में राम नाम की गूंज से असली परेशान पाकिस्तान में रहने वाले कट्टरपंथी मुस्लिम हो गए. सवाल है कि पाकिस्तानी मुस्लिम कनाडा में लगी श्रीराम की विशालकाय प्रतिमा को देख छटपटाने क्यों रहे हैं. वे सनातन के इस भव्य आयोजन को इस्लाम के लिए खतरा क्यों बता रहे हैं.
सोशल मीडिया पर शेयर हो रहे वीडियोज में कनाडा में भगवान राम की प्रतिमा बनने पर पाकिस्तान तरह तरह के जहरीले कमेंट कर रहे हैं. एक पाकिस्तानी कहता है, 'अगर दुनिया में मंदिर बन गए तो लोग हिंदू हो जाएंगे. इससे मुसलमान भी गुमराह हो सकते हैं.' एक दूसरा पाकिस्तानी कहता है, 'अल्लाह ना करें कि किसी हिंदू का मंदिर बने. हर जगह अल्लाह ताला इस्लाम का बोलबाला हो. अल्लाह ये सारा निजाम ही मुसलमानों के लिए चला रहा है. मुसलमान की बरकत से ये सारे खा रहे हैं.'
कनाडा में मंदिर बनने से पाकिस्तानी क्यों परेशान?
दरअसल, पाकिस्तानियों को लगता है कि हिंदुस्तान के अलावा दुनिया के किसी भी मुल्क में मंदिर बनते हैं और उनमें हिंदू देवी-देवताओं की मूर्तियां लगाई जाती है तो इससे इस्लाम को खतरा है. वैसे भी इस्लाम में बूत परस्ती को गुनाह माना गया है. लेकिन इसका मतलब ये नहीं कि आप दूसरे धर्म से इस कदर नफरत करें. उनके धार्मिक आयोजनों पर उलजलूल बयान दें. शायद यहीं वजह है कि पाकिस्तान में हिंदू मंदिरों को तोड़ा जाता है और ऐसा करके पाकिस्तानी मुसलमान अपनी छाती भी फुलाते हैं.
पाकिस्तानी मुसलमानों की यहीं कट्टरता उन्हें दिन ब दिन खोखला करती जा रही है. गैर मुस्लिमों से नफरत करना, उन्हें हिकारत की नजर से देखना पाकिस्तानी मुसलमानों का ट्रेंड बन चुका है. शायद यही वजह है कि अब दुनिया पाकिस्तान के मुसलमानों से किनारा कर रही है और ये बात खुद पाकिस्तानी भी कबूल रहे हैं.
इस नेता की शिरकत से गुस्से में कट्टरपंथी
एक तरफ कनाडा के मिसीसॉगा में भगवान राम की 51 फीट ऊंची प्रतिमा ने पाकिस्तानियों की नींद उड़ा रखी हैं. वहीं पाकिस्तान की कट्टर अवाम इस बात से भी भड़की हुई है. एक पाकिस्तानी मूल के नेता शफाकत अली. जो कनाडा में रहते हैं, वो भी मिसीसॉगा में हुए सनातन के इस भव्य समारोह में शामिल हुए. बस इसी बात से पाकिस्तानियों का माथा ठनका हुआ है.
एक पाकिस्तानी मुस्लिम के सनातनी आयोजन में शामिल होने की खबर से पाकिस्तानियों का कलेजा फट रहा है. इसके पीछे की वजह पाकिस्तान के बच्चे-बच्चे में फैला कट्टरता का जहर है. तभी तो दुनिया के तमाम मुस्लिम देशों में हिंदू मंदिर बन रहे हैं और सनातन का विस्तार हो रहा है. जबकि पाकिस्तानी आज भी हिंदूओं से नफरत करने और उनके खिलाफ जहर उगलने से बाज नहीं आ रहे हैं.