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इस एक गलती से गले के अंदर उग आए बाल, बीमारी का पता लगाने में डॉक्टर के छूटे पसीने

डॉक्टरों के मुताबिक साल 2007 में एक मरीज उनके पास आया उसे लगातार खांसी, कर्कश आवाज और सांस लेने में तकलीफ हो रही थी. कैमरे के जरिए मरीज की जांच करने पर पता चला की उसके गले के अंदर कई सारे छोटे-छोटे काले बाल उग रहे थे. 

इस एक गलती से गले के अंदर उग आए बाल, बीमारी का पता लगाने में डॉक्टर के छूटे पसीने
  • व्यक्ति के गले के अंदर उग आए बाल 
  • मेडिकल फील्ड का यह पहला मामला 

नई दिल्ली: धूम्रपान सेहत के लिए हानिकारक है. इससे आपको लंग्स से जुड़ी काफी समस्याएं हो सकती है. बता दें कि ऑस्ट्रिया में धूम्रपान के कारण एक दुलर्भ बीमारी का मामला सामने आया है. ' द सन' की एक रिपोर्ट के मुताबिक 52 साल के एक व्यक्ति ने साल 1990 में 20 साल की उम्र से धूम्रपान करना शुरू किया था. इस लत के चक्कर में व्यक्ति के गले में छोटे-छोटे बाल उग आए. 'अमेरिकन जर्नल ऑफ केस रिपोर्ट' में लिखते हुए वैज्ञानिकों ने बताया कि यह अजीबोगरीब घटना अब तक का दुनियाभर में पहला मामला है. 

गले के अंदर उगे बाल 
डॉक्टरों के मुताबिक साल 2007 में एक मरीज उनके पास आया उसे लगातार खांसी, कर्कश आवाज और सांस लेने में तकलीफ हो रही थी. कैमरे के जरिए मरीज की जांच करने पर पता चला की उसके गले के अंदर कई सारे छोटे-छोटे काले बाल उग रहे थे. डॉक्टरों ने इसको लेकर मरीज को दवाई दे, लेकिन इसका उन बालों पर कोई खास असर नहीं पड़ा.रिपोर्ट के मुताबिक डॉक्टरों के बालों को हटाने के बाद भी अगले 14 सालों तक व्यक्ति के गले में अजीब तरीके से बाल उगते रहे. इस दौरान व्यक्ति एंडोट्रैकियल हेयर ग्रोथ नाम की एक समस्या से भी जूझने लगा. डॉक्टरों का मनना है कि व्यक्ति के साथ ये समस्या नियमित स्मोकिंग करने से हो सकती है. 

मुंह तक पहुंचने लगे बाल 
ऑस्ट्रिया के डॉक्टरों का मानना है कि स्मोकिंग करने से गले में सूजन की समस्या होती है, जिससे सेल्स छोटे-छोटे बालों के रूपे में परिवर्तित होने लगते हैं. डॉक्टरों के मुताबिक ये बाल व्यक्ति के गले से नियमित 6-9 इंच तक बढ़ रहे थे. यहां तक की कुछ बॉल वॉइस बॉक्स के जरिए मुंह तक पहुंचने की कोशिश भी कर रहे थे. डॉक्टरों का मानना है कि ये समस्या धूम्रपान करने से हो सकती है, हालांकि ये स्पष्ट बताना मुश्किल है कि ऐसा धूम्रपान से ही हुआ है. 

बीमारी ने छुड़ाए डॉक्टर के पसीने 
डॉक्टरों ने व्यक्ति के साल 2020 में स्मोकिंग छोड़ने पर उसका एंडोस्कोपिक आर्गन प्लाजमा कोग्युलेशन नाम का ट्रीटमेंट शुरू किया. इसमें बाल उगने वाले रास्ते को बंद किया जाता है. लगभग 2 साल के इस ट्रीटमेंट के बाद व्यक्ति को आखिर इस समस्या से छुटकारा मिल गया. बता दें कि डॉक्टरों ने इस दुलर्भ बीमारी को एंडोट्रेचियल हेयर ग्रोथ नाम दिया है. यह मेडिकल फील्ड का पहला मामला है. 

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