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Jaipur: जुमा के बाद वक्फ कानून के खिलाफ होगा प्रोटेस्ट; नमाज से पहले होंगी तकरीरें

Jaipur Anti Waqf Protest: जयपुर में जुमा की नमाज़ के बाद वक्फ कानून के खिलाफ प्रोटेस्ट होने वाला है. जमात ए इस्लामी हिंद ने वक्फ के खिलाफ आंदोलन में ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड का समर्थन किया है. ये वक्फ बचाओ आंदोलन का पहला दिन है.

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Jaipur: जुमा के बाद वक्फ कानून के खिलाफ होगा प्रोटेस्ट; नमाज से पहले होंगी तकरीरें
Sami Siddiqui |Updated: Apr 11, 2025, 11:22 AM IST
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Jaipur Anti Waqf Protest: वक्फ को लेकर मुस्लिम तंजीमों का लगातार एहतेजाज जारी है. सुप्रीम कोर्ट में धड़ा-धड़ इस कानून के खिलाफ याचिकाएं दायर की जा रही हैं. अब जयपुर में वक्फ कानून के खिलाफ प्रोटेस्ट होने वाला है. जमात ए इस्लामी हिंद ने वक्फ कानून के खिलाफ आंदोलन में ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड का समर्थन किया है. जुमा की नमाज के बाद 1:45 पर यह रैली निकाली जाएगी, जिसमें भारी मात्रा में लोगों के शामिल होने की उम्मीद है.

जयपुर में वक्फ कानून के खिलाफ रैली

जमात ए इस्लामी हिंद का कहना है कि यह कानून देश भर के मुसलमानों को मंजूर नहीं है, क्योंकि यह संविधान की मूल भावना के खिलाफ है. आने वाले दिनों में इसको लेकर सड़कों पर आंदोलन किया जाएगा. दरअसल जमात ए इस्लामी हिंद, ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड और दूसरे संगठनों के साथ मिलकर वक्फ बचाओ आंदोलन की शुरुआत कर रहा है. आज यानी 11 अप्रैल को इस मुहिम का पहला दिन है.

जुमा की नमाज़ के बाद खास तकरीर

जमात के प्रदेश अध्यक्ष मोहम्मद नाजिम और प्रेस सेक्रेटरी डॉ सैयद नासिर हसन का कहना है कि पूरे राजस्थान के इमामों को अपील की जा चुकी है कि जुमे के नमाज के दौरान इस कानून के खिलाफ तकरीर हो. उनके इलाकों में भी आने वाले दिनों में प्रदर्शन किया जाएगा. आज जुमा की नमाज की दौरान वक्फ कानूनों को लेकर तकरीरें की जाएंगी.

दूसरे धर्म के लोगों को भी किया जाएगा इकट्ठा

इस कानून को लेकर जमात ए इस्लामी हिंद का कहना है कि यह कानून मुसलमानों के खिलाफ है और साथ ही संविधान के भी खिलाफ है. जिसकी वजह से दूसरे धर्मों को भी साथ में लाने की अपील की जाएगी और साथ ही उन्हें बताया जाएगा कि कैसे उन्हें भी निशाना बनाया जा सकता है.

जमियत उलेमा-ए-हिंद लड़ेगी कोर्ट की लड़ाई

वहीं जमियत उलेमा-ए-हिंद ने सड़क पर उतरकर एहतेजाज न करने का फैसला किया है. जमियत ने सुप्रीम कोर्ट में इस कानून के खिलाफ अपील दायर की है, और मामले की सुनवाई 16 अप्रैल को होनी है. मौलाना अरशद मदनी ने हाल ही में कहा था कि यह कानून ऐसे समय में लाया गया है जब पूरे देश में मुसलमानों के खिलाफ नफ़रत की आंधी चल रही है. हमारी कई मस्जिदें और दरगाहें पहले ही निशाना बनाई जा चुकी हैं, और वहां मंदिर होने के दावे किए जा रहे हैं. 

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