Gaza News: इजराइली सैनिकों पर आम लोगों की हत्या करने का इल्जाम लगता आया है. मारे गए 48 हजार से ज्यादा लोगों में 18 हजार से ज्यादा बच्चे शामिल हैं. अब इजराइली सेना एक और इल्जाम झेल रही है. यह इल्जाम है डकैती का, आरोप है कि इजराइली सेना ने गाजा और लेबनान में रेड के दौरान करोड़ों रुपये का सामान बरामद किया. लगभग 28 मिलियन डॉलर मूल्य की नकदी से भरे बक्से, सोने की ईंटें, लक्जरी आभूषण और 183,000 हथियार शमिल हैं.
इज़रायली आउटलेट Ynet की एक नई रिपोर्ट के मुताबिक, ये सीरिया, लेबनान और गाजा से इज़रायली सैनिकों के जरिए लूटी गई चीजों में से कुछ हैं. लूट इतनी बड़ी थी कि सैनिकों ने मजाक में कहा कि इन चीजों को ले जाने से उनकी "पीठ टूट गई".
ज़्यादातर लूटपाट खास आर्मी यूनिट के जरिए की गई और उन्हीं के जरिए एकत्र की गई है. लेकिन सैनिकों (आजाद तौर पर) के जरिए लूटपाट भी बड़े पैमाने पर हुई है. वाईनेट के अनुसार, सीरिया, लेबनान और गाजा पर चल रहे आक्रमणों के दौरान सैनिकों ने एक छोटी सेना बनाने लायक पर्याप्त हथियार जब्त कर लिए हैं.
इस लूट में अलग-अलद मिसाइलें, ड्रोन, उन्नत एंटी टैंक मिसाइलें, हजारों विस्फोटक चार्ज, हजारों मानक राइफलें (जिनमें नई राइफलें भी शामिल हैं जो अभी भी अपनी पैकेजिंग में हैं), स्नाइपर राइफलें, आर्मी कम्यूनिकेशन इंस्ट्रूमेंट्स, कम्पास, दूरबीन, नाइट वीजन डिवाइसेज, वर्दी, जूते, दर्जनों वाहन और यहां तक कि संग्राहकों के खजाने जैसे 1930 के दशक की फ्रांसीसी राइफलें और हिजबुल्लाह के गुर्गों के जरिए इस्तेमाल की जाने वाली एंटीक और महंगी पिस्तौलें शामिल हैं.
दक्षिणी लेबनान में लूटपाट में हिस्सा लेने वाले ए नाम के एक इजरायली अधिकारी ने कहा कि कुछ गांवों में सैनिक वाहनों का इस्तेमाल नहीं कर सकते थे, इसलिए उन्होंने चोरी की चीजों को पैदल ही ले जाया. उन्होंने कहा, "पहले तो हम रात में अपनी पीठ पर मिसाइल, हथियार और गोला-बारूद के टोकरे लादकर इजरायल ले जाते थे, लेकिन जल्द ही यह बहुत ज़्यादा हो गया. इससे हमारी कमर टूट गई, और हमारे लोग बहुत मज़बूत हैं."