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मुस्लिम लड़कियों की तालीम को हराम बताना...; वर्ल्ड लीग के प्रमुख का बड़ा बयान

Girls Education: OIC में मु्स्लिम मौलाना ने बोलते हुए कहा है कि मुस्लिम लड़कियों को तालीम से दूर रखना सबसे बड़ा गुनाह है. उन्होंने कहा है कि मुस्लिम लड़कियों की तालीम पर असहमति रखने वालों को बहुत सावधान रहने की जरूरत है.

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मुस्लिम लड़कियों की तालीम को हराम बताना...; वर्ल्ड लीग के प्रमुख का बड़ा बयान
Siraj Mahi|Updated: Jan 12, 2025, 02:40 PM IST
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Girls Education: पाकिस्तान में मुस्लिम लड़कियों की तालीम पर इस्लामिक सहयोग संगठन (OIC) सम्मेलन हो रहा है. इस सम्मेलन में इंटरनेशनल इस्लामिक स्कॉलर्स ऑर्गनाइजेशन के अध्यक्ष मोहम्मद अल-इसा ने मुस्लिम लड़कियों की तालीम पर बड़ा बयान दिया है. उन्होंने मुस्लिम लड़कियों को तालीम से दूर रखने की निंदा की है. उन्होंने कहा कि लड़कियों को तालीम से दूर रखना इस्लामी तालीम के खिलाफ है.

तालिबान पर कटाक्ष
मोहम्मद अल-इसा ने तालिबान की तरफ से लड़कियों की तालीम पर लगाई गई पाबंदी को सीधे तौर पर कहा कि "किसी सही चीज पर पाबंदी लगाना सबसे बड़ा गुनाह है." अल-इसा ने सीधे तौर से तालिबान से प्रतिबंधात्मक नीतियों के लिए इस्लाम को जिम्मेदार ठहराने को बंद करने को कहा. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि इस्लाम साफ तौर से औरतों की तालीम का सपोर्ट करता है.

लड़कियों को तालीम से न रखें दूर
अल-इसा ने सरकारों और संगठनों को गलत नीतियों को सही ठहराने के लिए मजहब का गलत इस्तेमाल करने के खिलाफ चेतावनी दी. उन्होंने कहा कि "औरतों और लड़कियों को तालीम तक पहुंच से दूर रखना पूरी तरह से गलत है." शिखर सम्मेलन के दौरान #GirlsEducationMatters पहल की शुरूआत पर बोलते हुए, अल-इसा ने इस्लामी जानकारों के बीच सबकी रजामंदी के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि "इस्लाम औरतों को तालीम से दूर करने के किसी भी रूप को नकारता है, चाहे वह कम हो या ज्यादा."

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औरतों की तालीम पर रहें सावधान
उन्होंने आगे कहा, "हम सभी जानते हैं कि औरतों को उनके तालीमी हक से दूर रखना, इससे बढ़कर कोई जुर्म नहीं है. इसलिए, कोई भी शख्स या इदारा- चाहे वह सार्वजनिक हो या निजी- जो इस मुद्दे पर असहमति रखता है, उसे औरतों के तालीमी हक पर बहुत सावधान रहना चाहिए." अल-इस्सा ने इस्लाम की सख्त व्याख्या के खिलाफ भी चेतावनी दी. उन्होंने कहा, "जिसकी इजाजत है उस पर पाबंदी लगाना, जो गैर कानूनी है उसकी इजाजत देने से बड़ा पाप है." 

मेडिकल तालीम और लड़कियां
अल-इसा ने कहा कि कुछ लोग एक मर्द की तरफ से किसी औरत को मेडिकल सेवाएं देने, औरतों को मेडिकल तालीम हासिल करने से रोकने के बारे में आपत्ति जाहिर करते हैं. अल-इसा ने जोर देकर कहा कि शिखर सम्मेलन में शुरू की गई पहल सिर्फ दिखावे के लिए नहीं है, बल्कि यह पहल, अल्लाह की मदद से, ठोस समझौतों के जरिए से असरदार और ठोस होगी.

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