Pakistan News: पेशावर- पाकिस्तान के अशांत खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के नौशेरा जिले में अकोरा खट्टक के मदरसा-ए-हक्कानिया में शुक्रवार की नमाज के दौरान एक ताकतवर बम विस्फोट में कम से कम पांच अफराद की मौत हो गई और 20 दीगर ज़ख़्मी हो गए. विस्फोट जुम्मा की नमाज के दौरान हुआ था.
खैबर पख्तूनख्वा के मुख्य सचिव शहाब अली शाह ने विस्फोट में मदरसे के केयरटेकर और जमीयत उलेमा इस्लाम (सामी समूह) के प्रमुख हमीदुल हक हक्कानी की मौत की तस्दीक की है. खैबर पख्तूनख्वा के आईजीपी जुल्फिकार हमीद ने कहा, " विस्फोट एक आत्मघाती बम विस्फोट होने का शक है, और हमीदुल हक पर निशाना साधा गया होगा." उन्होंने कहा, "हमने हमीदुल हक को छह सुरक्षा गार्ड मुहैया कराए थे."
जेयूआई-एस के बानी, मौलाना समीउल हक तालिबान की हिमायत करने वाले एक बहुत ही मुखर लीडर थे. हक की नवंबर 2018 में रावलपिंडी में उनके आवास पर नामालूम हमलावरों ने हत्या कर दी थी.
नौशेरा जिले के डीपीओ अब्दुर रशीद ने बताया कि हादसे के बाद बचाव दल घटनास्थल पर पहुंचे और शवों और घायलों को अस्पताल पहुंचाया है. नौशेरा और पेशावर दोनों अस्पतालों में इमरजेंसी घोषित कर दिया गया है. काजी हुसैन मेडिकल कॉम्प्लेक्स के एक डॉक्टर ने बताया कि कम से कम 20 घायल और पांच शव अस्पताल लाए गए हैं.
दारुल उलूम हक्कानिया अखोरा खट्टक पाकिस्तान के सबसे प्रसिद्द और बड़े धार्मिक स्कूलों में से एक है. इस मदरसे में हजारों छात्र पढ़ते हैं. इसे अफगान तालिबान और तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) की हिमायत करने के लिए जाना जाता है. दारुल उलूम हक्कानिया को कई टीटीपी और अफगान तालिबान कमांडरों की प्रारंभिक शिक्षा स्थल के रूप में भी जाना जाता है.
अभी तक किसी भी तंजीम ने इस हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है. हालांकि, तालिबान के हरीफ इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रांत (आईएसकेपी) या उसके सहयोगी समूह दाएश इस हमले के पीछे हो सकते हैं.
खैबर पख्तूनख्वा के मुख्यमंत्री अली अमीन गंदापुर और राज्यपाल फैसल करीम कुंदी ने आत्मघाती विस्फोट की निंदा की है. जेयूआईएफ नेताओं ने घायलों के लिए रक्तदान की अपील की है.
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