Bangladesh Political Crisis: बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के सूचना सलाहकार महफूज आलम ने मंगलवार को दावा किया कि अपदस्थ प्रधानमंत्री शेख हसीना की पार्टी अवामी लीग के 1 लाख से ज्यादा कार्यकर्ता भारत भाग गए हैं. उनका यह बयान बांग्लादेशी मीडिया में सामने आया है. बांग्लादेशी समाचार पोर्टल Bdnnews24.com के मुताबिक, महफूज आलम ने यह बयान ईद के अवसर पर आयोजित एक समारोह में दिया. इस कार्यक्रम में उन लोगों के परिवार भी शामिल थे, जो शेख हसीना के शासनकाल में लापता हुए या मारे गए.
इस कार्यक्रम का आयोजन मानवाधिकार समूह ‘मेयर डाक’ ने किया था. यह कार्यक्रम बांग्लादेश की राजधानी ढाका के तेजगांव क्षेत्र में हुआ. इस दौरान महफूज आलम ने शेख हसीना पर संगीन इल्जाम लगाते हुए कहा कि उन्होंने अपने माता-पिता की हत्या का बदला लेने के लिए कई लोगों को गायब करवाया और उनकी हत्या करवाई.
सरकारी समाचार एजेंसी BSS के मुताबिक, महफूज आलम ने कहा कि अवामी लीग के सदस्यों को डर है कि नए शासन में उन्हें सजा मिल सकती है, इसलिए वे भारत भाग गए हैं.
क्या है मामला?
बांग्लादेश में इस साल हुए आम चुनावों के बाद सत्ता में बदलाव हुआ है. लंबे वक्त तक सत्ता में रहीं शेख हसीना की पार्टी अवामी लीग को इस बार सरकार से बाहर होना पड़ा. हसीना पर इल्जाम है कि उनके शासनकाल में कई विपक्षी नेताओं और कार्यकर्ताओं को लापता कर दिया गया था. इस मुद्दे को लेकर मानवाधिकार संगठनों ने भी कई बार चिंता जताई थी.
भारत क्यों भाग रहे हैं अवामी लीग के कार्यकर्ता?
बांग्लादेश में सत्ता परिवर्तन के बाद अवामी लीग के कई नेताओं और कार्यकर्ताओं को गिरफ्तारी और हिंसा का डर सता रहा है. महफूज आलम के दावे के मुताबिक, 1 लाख से ज्यादा लोग भारत में शरण ले चुके हैं. हालांकि, इस दावे की अभी स्वतंत्र रूप से पुष्टि नहीं हुई है.
भारत का रुख क्या होगा?
गौर करने वाली बात यह है कि अगर इतनी बड़ी संख्या में बांग्लादेशी भारत आ रहे हैं तो यह दोनों देशों के रिश्तों के लिए नई चुनौती बन सकता है. भारत सरकार ने अभी तक इस पर कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया है. वहीं, बांग्लादेश में सत्ता परिवर्तन के बाद नई सत्तारूढ़ पार्टी और अवामी लीग के बीच तनाव बढ़ता जा रहा है. शेख हसीना के समर्थकों पर कार्रवाई की भी खबरें आ रही हैं. अब देखना यह है कि बांग्लादेश सरकार इस मुद्दे को कैसे संभालती है और भारत इस स्थिति पर क्या रुख अपनाता है.