China Arab Relation: एक तरफ अमेरिका कई मुस्लिम देश के नागरीकों के अपने देश आने पर प्रतिबंध लगा रहा है, वीजी नीति को और सख्त कर रहा है. वहीं चीन ने अपने वीजी नीति को और सरल बनाने के लिए बड़ा कदम उठाया है. इस नीति के तहत से सऊदी अरब, ओमान, कुवैत और बहरीन के नागरीकों को चीन आने में तकलीफों का सामना नहीं करना होगा. नॉर्मल सिर्फ नॉर्म वीजा की मदद से इन मुल्कों के लोग चीन में प्रवेश कर सकते हैं. चीन सरकार के इस कदम के बाद चीन में बिना किसी वीजा के प्रवेश करने वाले देशों की तादाद बढ़कर 47 हो गए हैं.
चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने इस निर्णय को चीन के खुलेपन की नीति बता रहे हैं. उन्होंने कहा कि वीजा-मुक्त प्रवेश की सुविधा का दायरा बढ़ाना उच्च स्तरीय खुलेपन के प्रति चीन की प्रतिबद्धता को दर्शाता है. इस नीति के तहत बिना वीजा चीन में प्रवेश करने वाले मुल्कों के नागरीकों, पर्यटकों, कारोबारियों बिना वीजी लिए 30 दिनों तक चीन में अपना काम कर सकते हैं. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक चीन के इस कदम के पीछे अपने मुल्क में ज्यादा से ज्यादा विदेशी लोगों को उत्पाद, आपूर्ती, विभिन्न उपभोग परिदृश्य और सुविधाजनक सेवाओं का अनुभव प्रदान करना है.
फिलहाल चीन का यह वीजा नियम 9 जून 2025 से 8 जून 2026 तक के लिए लागू रहेगा. वहां के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने इस बात पर जोर देकर कहा कि चीन अपने मुक्त वीजा नीति को और सरल बनाने के कोशिश में लगातार लगा हुआ है.
गौरतलब है कि चीन अपनी चालाक नीति के साथ लगातार मुस्लिम मुल्कों के करीब होता जा रहा है. अफगानिस्तान, पाकिस्तान, ईरान, सऊदी अरब और अरब के कई मुस्लिम मुल्कों के साथ चीन के रिश्ते दोस्ताना हैं, और मजबूत भी हो रहे हैं. यहीं नहीं चीन मुस्लिम मुल्कों के साथ रोड और इंफ्रास्ट्रक्चर,रक्षा , खनिज खनन, तेल व्यपार या अन्य दीगर व्यपार हो इन सभी क्षेत्रों में चीन कई मुस्लिम मुल्कों के साथ डील कर रहा है, और काम कर रहा है, जिससे चीन को कफी मुनाफा हो रहे हैं.